Geeta Saar : जब तुम्हारी बुद्धि मोहरूपी दलदल को तर जाएगी, उसी समय तुम ... - मोहरूपी दलदल
जो भक्तजन परमात्मा को परम लक्ष्य समझते हुए सब कर्मों को अर्पण करके, परमात्मा का ध्यान करते हैं, चित्त परमात्मा में स्थिर है ऐसे भक्तों का शीघ्र ही संसार से उद्धार होता है. जो इन्द्रियों की अनुभूति के परे है , सर्वव्यापी है,अकल्पनीय है,अपरिवर्तनीय है, अचल तथा ध्रुव है, वे समस्त लोगों के कल्याण में संलग्न रहकर अंततः परमात्मा को प्राप्त करते हैं. जो लोग ज्ञान के चक्षुओं से शरीर तथा शरीर के ज्ञाता के अंतर को देखते हैं, गीता में बताई गई जीवन शैली की विधि को भी जानते हैं, वे परमात्मा को प्राप्त हो जाते हैं. Geeta Saar . motivational quotes .