⦁ क्या कोविड-19 का वैक्सीन लगवाना सबके लिए जरूरी है?
इस सवाल के जवाब में डॉ. राव बताते हैं की जरूरी नहीं है की कोविड-19 का टीका सभी व्यक्ति लगवाएं, क्योंकि अभी तक इसे लगवाने के लिए नियमों की घोषणा नहीं की गई है. लेकिन इस वैक्सीन को लगवाने के लिए समय की जरूरत है. यहां यह जानना भी जरूरी है की जो लोग इस संक्रमण के प्रभाव में आ चुके हैं, उनके शरीर में स्वतः ही एंटीबॉडीज का निर्माण होता है. ऐसे में वे कुछ महीनों तक संक्रमण से सुरक्षित रह सकते हैं. लेकिन ऐसा हमेशा के लिए संभव नहीं है. इसलिए कोरोना से बचाव के लिए टीकाकरण ही बेहतर उपाय है.
⦁ क्या टीकाकरण ना कारवाने का परिणाम खतरनाक है?
डॉ. राव बताते हैं की कोविड-19 का वायरस स्वतः अपनी संरचना बदलने में सक्षम है. ऐसे में आशंका जताई जा रही है की यह वायरस कुछ अन्य संक्रमणों के साथ मिलकर ज्यादा खतरनाक रूप भी ले सकता है. जिससे बुजुर्ग लोग तथा ऐसे लोग जो की कोमोरबिट बीमारियों, जैसे उच्च रक्तचाप तथा मधुमेह जैसी बीमारियों के शिकार हैं, उनके स्वास्थ्य पर ज्यादा असर पड़ सकता है. चूंकि कोरोना वायरस का अभी भी कोई शर्तिया इलाज नहीं हैं. इसलिए स्वास्थ्य को संक्रमण से बचाने तथा उसकी सुरक्षा के लिए वैक्सीन जरूर लगवाना चाहिए.
⦁ क्या कोविड-19 के मरीज टीकाकरण करवा सकते हैं?
ऐसे लोग जो कोरोना संक्रमण से पीड़ित हो उन्हें टीका नहीं लगाया जा सकता है. टीकाकरण के इच्छुक लोगों के लिए जरूरी है की वे वैक्सीन लेने से पहले जांच ले की उनमें इस संक्रमण के कोई लक्षण तो नहीं है. यदि कोई व्यक्ति इस संक्रमण से पीड़ित हैं, तो उसे टीका लगवाने से पहले, कोरोना से ठीक होने के बाद लगभग 4-8 सप्ताह तक इंतजार करना चाहिए. वरना टीका लगवाने के बाद गंभीर समस्याएं हो सकती है.
⦁ वैक्सीन की कितनी डोज जरूरी है?
28 दिन के अंतराल पर एक समान मात्रा में वैक्सीन के दो टीके लगवाए जाना जरूरी है. डॉ. राव बताते हैं की यदि सिर्फ एक बार टीका लगवाया जाता है, तो इस संक्रमण से बचाव के लिए जरूरी रोग प्रतिरोधक क्षमता का शरीर में निर्माण नहीं हो पाता है तथा इस संक्रमण से बचाव का प्रतिशत मात्र 60 से 80 प्रतिशत ही रह जाता है. इसके अलावा यदि पहला तथा दूसरा टीका लगवाने के समय के बीच में ज्यादा अंतराल आ जाए, तो भी शरीर पर उसके असर में कमी आती है.
⦁ क्या कोविड-19 की टीके का साधारण बीमारियों या नियमित दवाओं के सेवन पर असर पड़ता है?
डॉ. राव बताते हैं की आमतौर पर कोविड-19 के टीकों का किसी साधारण रोग के लिए ली जाने वाली दवाइयों या नियमित तौर पर ली जाने वाली दवाइयों के प्रभाव पर कोई असर नहीं पड़ता हैं, लेकिन यदि इस दौरान स्टेरॉइड या उस जैसे प्रभाव वाली दवाइयों का सेवन किया जाए, तो शरीर में एंटीबॉडी बनने में समस्या आती है.
⦁ शरीर के किसी भी अंग का ट्रांसप्लांट कराने वाले लोग क्या टीकाकरण करवा सकते हैं?
ऐसे लोग जो शरीर के किसी भी अंग का प्रत्यारोपण या सर्जरी करवा चुके हो, उनके लिए कोविड-19 का टीकाकरण जरूरी नहीं है, क्योंकि दवाइयों के कारण उनके शरीर में पहले ही एंटीबॉडीज होते है. लेकिन फिर भी इस बारे में चिकित्सक से सलाह लेना ज्यादा उचित है.
⦁क्या गर्भवती या स्तनपान कराने वाली महिलायें टीका लगवा सकती है?
डॉ. राव बताते हैं की कोविड-19 का वैक्सीन इस संक्रमण के मृत अंशों से संश्लेषित किया गया है. इसलिए शोधकर्ता मानते हैं की गर्भवती या स्तनपान कराने वाली महिलाओं के शरीर में टीके के पार्श्वप्रभाव नजर आने की आशंका कम है. लेकिन फिर भी इस विषय पर शोध के अभाव में सिडीसी यानी सेंटर फॉर डिजीज प्रीवेनशन ऐसी महिलाओं को टीका ना लेने की सलाह देता है. वहीं ब्रिटिश हेल्थ काउंसिल भी टीका लेने के बाद कम से कम दो महीनों तक महिलाओं को गर्भवती होने से बचने की सलाह देता है.