नई दिल्ली: एटीएस की टीम कुछ समय पहले गैंगस्टर लॉरेंस बिश्नोई को गुजरात लेकर गई थी. वहां से लौटने पर उसे किस जेल में रखा जाए, इसको लेकर संशय की स्थिति थी. सबसे पहले उसे तिहाड़ जेल में रखने की योजना बनी, लेकिन अंतिम समय में सुरक्षा को देखते हुए मंडोली जेल में रखा गया. लॉरेंस बिश्नोई को रखने को लेकर अभी विवाद खत्म नहीं हुआ है. मिली जानकारी के अनुसार तिहाड़ जेल प्रशासन लॉरेंस बिश्नोई से परेशान है और उसे अपनी जेल में नहीं रखना चाहता है. इस संबंध में जेल प्रशासन ने पटियाला हाउस कोर्ट में अपील दाखिल किया है.
जेल प्रशासन का कहना है कि लॉरेंस बिश्नोई पर अधिकतर केस पंजाब और राजस्थान में दर्ज हैं. पिछले दिनों दिल्ली पुलिस उसे पंजाब और राजस्थान में दर्ज मामलों के संबंध में उन राज्यों में लेकर गई थी. अलग-अलग राज्यों की पुलिस द्वारा उसे ट्रांजिट रिमांड पर ले जाने का सिलसिला लगातार जारी है, लेकिन लौटकर उसे तिहाड़ जेल में ही रखा जा रहा है. तिहाड़ प्रशासन ने कोर्ट में दायर अपील में लॉरेंस बिश्नोई को वापस बठिंडा जेल में भेजे जाने की रिक्वेस्ट किया है.
जेल प्रशासन के मुताबिक, एनआईए द्वारा गुजरात ले जाने से पहले बिश्नोई बठिंडा जेल में बंद था. यहां से उसे 17 अप्रैल 2023 को एनआईए की कोर्ट में पेश करने के लिए दिल्ली लाया गया. लेकिन शाम होने की वजह से उसे तिहाड़ जेल भेजने का आदेश दिया गया. फिर 18 अप्रैल को लॉरेंस बिश्नोई को एनआईए की रिमांड में 7 दिन के लिए भेजा गया. उसके बाद उसे एटीएस गुजरात पूछताछ के लिए गुजरात ले गई. फिर 25 मई को उसे दिल्ली लाया गया, जिसके बाद से उसे मंडोली जेल में रखा गया है.