नई दिल्ली:21 अगस्त को दिल्ली सरकार ने एक आदेश जारी किया था. इस आदेश के तहत दिल्ली के लगभग तीन हजार अस्थाई स्वास्थ्यकर्मियों को दिसंबर तक अल्टीमेटम देकर नौकरी से निकालने का फरमान जारी किया गया. नर्सिंग स्टाफ यूनियन इसका लगातार विरोध कर रही है.
आदेश के खिलाफ हाईकोर्ट में अवमानना का मामला भी डाल दिया गया है, जिसकी सुनवाई 15 अक्तूवर को होगी. यूनियन ने दिल्ली सरकार के इस फैसले के खिलाफ 7, 8 और 9 सितंबर को सुबह 9 से 11 बजे दो घंटे तक काम ठप रखकर अपना विरोध जताने का निर्णय लिया है.
नौकरी की आखिरी तारीख 31 दिसंबर
यूनियन का कहना है कि अगर इसके बावजूद अगर दिल्ली सरकार आदेश को वापस नहीं लेगी तो बड़ा आंदोलन वे करेंगे. इस पर सभी अस्पतालों के यूनियन का यूनियन एकजुट है. दिल्ली सरकार के इस आदेश से दिल्ली के अस्पतालों में काम कर रहे लगभग तीन हजार हेल्थ केयर वर्कर्स परेशान हो गए हैं. इस फरमान के मुताबिक उनकी नौकरी की आखिरी तारीख 31 दिसंबर होगी. उसके बाद इनको हटा दिया जाएगा, क्योंकि इन पदों पर स्थाई कर्मचारियों को भरने की प्रक्रिया शुरू की जा चुकी है.
DSSSB के तहत होगी नियुक्ती
नर्सिंग और पैरामेडिकल स्टाफ के विभिन्न पदों पर दिल्ली अधीनस्थ सेवा चयन बोर्ड (DSSSB) के तहत ग्रुप सी कर्मचारियों की नियुक्ती होगी. हालांकि मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल ने कॉन्ट्रैक्ट के नर्सिंग स्टाफ और पैरामेडिकल स्टाफ को आश्वासन दिया है कि वे अगले 4 महीने में उनके लिए कोई ना कोई रास्ता निकाल लेंगे, जिससे उनकी नौकरी बच जाएगी. मुख्यमंत्री के मौखिक आश्वासन पर लोगों को विश्वास नहीं है.
दिल्ली राज्य हेल्थ सर्विस वर्कर्स कॉन्ट्रैक्ट ईम्पलाइज यूनियन के जनरल सेक्रेटरी डॉ. नियाज अहमद ने हाईकोर्ट के आदेश के हवाले से बताया कि दिल्ली हाईकोर्ट ने दिल्ली हेल्थ एवं फैमिली वेलफेयर डिपार्टमेंट के अंदर जितने भी कॉन्ट्रैक्ट एंप्लोय हैं, उनको पॉलिसी बनाकर रेगुलर करने का आदेश दिया है. इतना ही नहीं, दिल्ली सरकार ने गत विधानसभा चुनाव में अपने घोषणा पत्र में भी इसे डाला था कि अगर हमारी सरकार आएगी, तो हम जितने भी हेल्थ वर्कर्स कॉन्ट्रैक्ट पर है, सभी को रेगुलर कर देंगे.
केजरीवाल ने दिया था आश्वासन
नियाज अहमद का कहना है कि मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल को हमने अपने कार्यक्रम में बुलाया भी और उन्होंने आश्वासन दिया था कि वह सभी कॉन्ट्रैक्ट हेल्थ वर्कर्स को परमानेंट कर देंगे. भरी सभा में इन्होंने घोषणा भी की थी.