दिल्ली

delhi

ETV Bharat / state

जन्माष्टमी: कालकाजी मंदिर में नहीं निकाली जाएंगी झांकियां - जन्माष्टमी कोरोना

कोरोना के कारण इस बार त्योहारों की रंगत भी फीकी पड़ गई है. ऐसा ही असर रक्षाबंधन पर भी दिखा. दक्षिणी दिल्ली स्थित सिद्धपीठ कालकाजी मंदिर में भी इस साल झांकियां नहीं लगाई जाएगी.

janashtami will be celebrated simply due to corona at kalkaji mandir in delhi
कालकाजी मंदिर में जनमाष्टमी में नहीं निकलेगी झांकियां

By

Published : Aug 11, 2020, 6:55 PM IST

नई दिल्ली:कोरोना महामारी के चलते मौजूदा स्थिति में हर एक त्योहार मनाने का तरीका बदल गया है. पहले रक्षाबंधन और अब जन्माष्टमी ना सिर्फ आम लोग बल्कि मंदिरों में भी बेहद सादगी के साथ इस त्योहार को मनाया जा रहा हैं. दक्षिणी दिल्ली स्थित सिद्धपीठ कालकाजी मंदिर में जहां हर साल कृष्ण जन्माष्टमी के लिए कई कार्यक्रम आयोजित होते थे, झांकियां लगाई जाती थी. लेकिन इस साल मंदिर प्रशासन ने बिना किसी बड़े आयोजन के सादगी के साथ इस त्योहार को मनाने का फैसला किया है.

कालकाजी मंदिर में जनमाष्टमी में नहीं निकलेगी झांकियां

11 अगस्त से मंदिरों में कृष्ण जन्मोत्सव शुरू हो गया है. कालकाजी मंदिर में 11 अगस्त को कृष्ण जन्माष्टमी मनाई जा रही है. वही 11 आज ही के दिन मध्य रात्रि को भगवान कृष्ण का प्राकट्य होगा. कालकाजी मंदिर के महंत सुरेंद्रनाथ अवधूत ने ईटीवी भारत को बताया कि हर वर्ष कालकाजी मंदिर में कृष्ण जन्मोत्सव के लिए भजन कीर्तन का आयोजन किया जाता था और जन्माष्टमी को पूरे दिन मंदिर में भजन कीर्तन होते थे. और फिर मध्यरात्रि को भव्य तरीके से भगवान कृष्ण का जन्म उत्सव पूरे हर्षोल्लास के साथ मनाते थे. जिसके लिए मंदिर में भक्तों की भारी भीड़ देखने को मिलती थी.


मां काली की भी होती है जयंती


महंत ने बताया क्योंकि जन्माष्टमी पर भगवान कृष्ण के जन्म के साथ-साथ हम महाकाली की जयंती भी मनाते हैं. इसीलिए कालकाजी मंदिर में एक अलग ही नजारा देखने को मिलता था. भगवान कृष्ण का जन्मोत्सव और मां काली की जयंती बेहद धूमधाम से मनाई जाती थी. कई झांकियां लगाई जाती थी. लेकिन मौजूदा स्थिति को देखते हुए मंदिर में सोशल डिस्टेंसिंग का पालन करवाने के लिए भव्य आयोजन नहीं किए गए हैं और बहुत ही सादगी के साथ भगवान की आराधना करते हुए उत्सव मनाया जा रहा है.

ABOUT THE AUTHOR

...view details