नई दिल्ली:दिल्ली अपराध शाखा की टीम ने बैंक से लोन लेकर फ्रॉड करने मामले में दो आरोपियों को गिरफ्तार किया है. गिरफ्तार आरोपी पति-पत्नी हैं. इनके ऊपर 50,000 का इनाम भी घोषित था. गिरफ्तार आरोपियों ने एक एजेंट की मदद से कई बैंकों में अपनी संपत्तियों को गिरवी रखवा दिया और बैंकों से लोन लिया. उन्होंने 1.22 करोड़ लोन लिया था. कथित संपत्ति प्रवाह के नाम से थी और उसका पति आरोपी ओमेंद्र कर्ज में गारंटर था. उन्होंने कर्ज के पैसे को ट्रांसपोर्ट व्यवसाय में लगाया, लेकिन कुछ घटनाओं के कारण उन्होंने अपना सारा पैसा गवा दिया. जब उन्होंने बैंक को पैसा नहीं लौटाया तो उनके द्वारा उन्हें डिफॉल्टर घोषित कर दिया गया. आरोपी दंपती पिछले 8 सालों से फरार चल रहे थे और अपना ठिकाना लगातार बदल रहे थे.
विशेष पुलिस आयुक्त रविंद्र सिंह यादव ने बताया कि ओरिएंटल बैंक ऑफ कॉमर्स ने रोहिणी कोर्ट दिल्ली में आरोपी व्यक्तियों के खिलाफ एक शिकायत दर्ज कराई थी. उन्होंने आरोप लगाया था कि आरोपित व्यक्तियों ने संपत्ति को गिरवी रखने की साजिश रची. और बैक से लोन लिया. फिर उन्होंने कर्ज की किस्त नहीं चुकाई. शिकायतकर्ता बैंक को दिनांक 27 मार्च 2014 को पता चला कि पंजीकृत संपत्ति नरेश कुमार निवासी सेक्टर 22 रोहिणी दिल्ली के पक्ष में एक व्यक्ति अभिलेख निष्पादित किया है. सत्यापन करने पर पता चला कि नरेश कुमार कोई और नहीं बल्कि उसका पति उमेंद्र सिंह था, जिसने बैंक को धोखा देने के लिए अपना नाम बदल लिया. शिकायतकर्ता बैंकों को यह भी पता चला कि यह संपत्ति उसके पति ओमेंद्र द्वारा कई बैंकों में गिरवी रखी गई थी.