नई दिल्ली: दक्षिणी दिल्ली जिला पुलिस के साइबर थाना टीम ने ठगी के आरोप में नाइजीरियाई नागरिक को गिरफ्तार किया है. नाइजीरियाई नागरिक ओनेबो ओनेका नथानिएल भारतीयों के साथ मिलकर अपना गिरोह चला रहा था. ओनेबो ओनेका नथानिएल इस गिरोह का सरगना है. आरोपियों के 5 बैंक खाते फ्रीज कर दिए गए, 12 मोबाइल फोन, 1 लैपटॉप और 7 डेबिट कार्ड और चेक बुक बरामद की गईं है. फिलहाल पुलिस आरोपियों से पूछताछ कर रही है.
पुलिस उपायुक्त चंदन चौधरी ने बताया कि 18 जुलाई को साइबर अपराध रिपोर्टिंग पोर्टल से पुलिस को शिकायत मिली थी. लाडो सराय में रहने वाले शिकायतकर्ता ने बताया कि उसे फेसबुक पर अमेलिया एडवर्ड नाम से एक फ्रेंड रिक्वेस्ट मिली. महिला ने खुद को यूके का बताया और दोनों के बीच दोस्ती हो गई. जिसके बाद दोनों ने व्हाट्सएप पर चैट करना शुरू कर दिया. महिला ने पीड़ित को बताया कि वह 50 हजार पाउंड के साथ मुंबई आई है और उसे कस्टम अधिकारी ने पकड़ लिया है.
पीड़ित ने अपनी शिकायत में बताया कि आरोपियों ने उसको बचाने के नाम पर महिला से 12 लाख 75 हजार रुपये चार अलग-अलग अकाउंट में ट्रांसफर करवा लिए. इंस्पेक्टर अरूण कुमार, एसआई संजय सिंह की टीम ने केस दर्ज कर मामले की जांच शुरू की.
पुलिस टीम ने जांच के दौरान शिकायतकर्ता से विस्तृत पूछताछ की. जिन खातों में पैसा गया था उन सभी चार बैंक अकाउंट और उस मोबाइल नंबर की जानकारी जुटाई. जिससे पीड़ित को मैसेज आए थे. तकनीकी निगरानी के माध्यम से, यह पता चला कि बैंक अकाउंट में गया पैसे मंडावली स्थित एटीएम से निकाला गया था. पुलिस ने मंडावली के एक पते पर छापा मारा और नाइजीरियाई नागरिक को पकड़ लिया. उससे पूछताछ के बाद पुलिस ने आकाश जुयाल, कशिश मांझी, रोहित कुमार उर्फ खन्ना, शुभम कर्ण, सनी शाह, यश यादव और एक महिला को गिरफ्तार कर लिया. यह सभी नाइजीरियाई नागरिक के गिरोह में शामिल थे. आरोपी ओनेबो ओनेका नथानिएल तीन माह के वीजा पर भारत आया था और वीजा खत्म होने के बाद वापस नहीं गया और भारत में रहकर ठगी कर गिरोह चलाने लगा.
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