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Black Fungal Infection: वातावरण में आई नमी, बढ़ सकता है खतरा - ब्लैक फंगस इंफेक्शन का खतरा

दिल्ली में कोरोना के नए मामले तेजी से कम हो रहे हैं, लेकिन ब्लैक फंगल इन्फेक्शन (fungal infection) के मामले में तेजी आने की आशंकाएं बढ़ गयी हैं. पोस्ट कोविड कॉम्प्लिकेशन (Post Covid Complication) के रूप में ब्लैक फंगल इन्फेक्शन (black fungal infection) होने डर तो है ही, साथ ही मौसम में बदलाव की वजह से वातावरण में पर्याप्त नमी फंगल इन्फेक्शन को बढ़ा सकती है.

Black Fungal Infection
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Published : Jun 8, 2021, 8:38 AM IST

नई दिल्ली:बदलते मौसम के साथ फंगल इंफेक्शन (fungal infection) की आशंकाएं भी बढ़ गई हैं. वातावरण में नमी मौजूद होने की वजह से फंगल इंफेक्शन (fungal infection) को बढ़ने के लिए अनुकूल माहौल मिल रहा है. दिल्ली सरकार पहले ही ब्लैक फंगस इंफेक्शन के बढ़ते मामले को देखते हुए इसे महामारी घोषित कर चुकी है.

Black Fungal Infection का खतरा

कोरोना के मामले में जिस तरह से दिल्ली में कमी आई है क्या ब्लैक फंगल इंफेक्शन के मामले में भी कमी आएगी ? इसको लेकर विशेषज्ञ चिंतित हैं, क्योंकि कोरोना के मामले में भले ही ठहराव आ गया हो, लेकिन पोस्ट कोविड कॉम्प्लिकेशन (Post Covid Complication) के तौर पर फंगल इंफेक्शन एक बड़ा खतरा के रूप में अभी भी मौजूद है.

ऊपर से वातावरण में नमी और उमस भरा माहौल फंगल इंफेक्शन (fungal infection) को बढ़ाने के लिए अनुकूल माहौल दे रहा है.

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वातावरण में नमी बढ़ा सकता है फंगल इंफेक्शन

दिल्ली मेडिकल एसोसिएशन (Delhi Medical Association) के पूर्व अध्यक्ष डॉ. अनिल बंसल (Dr. Anil Bansal) बताते हैं कि फंगल इन्फेक्शन (fungal infection) आमतौर पर साफ सफाई नहीं होने और गंदे माहौल में बढ़ते हैं. बारिश के दिनों में उमस बढ़ जाती है. पसीना निकलता है और पसीना सूख नहीं पाता है. इसी वजह से फंगल इंफेक्शन को बढ़ने में काफी मदद मिलती है.

दूसरी बात यह है कि कोरना के मरीजों के इलाज में बड़ी मात्रा में स्टेरॉयड का इस्तेमाल किया गया है. स्टेरॉयड एक बहुत अच्छी दवा है, लेकिन अगर इसका किसी विशेषज्ञ की निगरानी के बगैर इस्तेमाल किया गया हो तो यह शरीर को लाभ देने के बजाय नुकसान पहुंचा सकता है.

यह शरीर की इम्युनिटी को कम कर सकता है, जिसकी वजह से शरीर के भीतर मौजूद बैक्टीरिया, वायरस और दूसरी तरह के फंगस को एक्टिवेट कर सकते हैं.

छुआछूत की बीमारी नहीं है फंगल इन्फेक्शन

डॉ. अनिल बंसल बता रहे हैं कि कोरोना महामारी की तरह ब्लैक फंगल इन्फेक्शन (black fungal infection) छुआछूत की बीमारी नहीं है. यह एक व्यक्ति से दूसरे व्यक्ति को नहीं होता. फंगस हमारे शरीर के भीतर भी होते हैं और आसपास के माहौल में भी होते हैं.

उमस भरा माहौल नमी युक्त वातावरण मिलते ही फंगस का ग्रोथ होना शुरू हो जाता है. अगर फंगल इन्फेक्शन हो भी जाए तो डरने या घबराने की जरूरत नहीं है, क्योंकि फंगल इंफेक्शन की दवाइयां उपलब्ध है. सही समय पर इंफेक्शन की पहचान हो जाने पर मरीज को फंगल इंफेक्शन पूरी तरह से ठीक हो जाता है.

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फंगल इन्फेक्शन का इलाज उपलब्ध, डरने की बात नहीं

कोरोना का अभी तक कोई इलाज उपलब्ध नहीं है. इसका लक्षणों के आधार पर इलाज किया जाता है, लेकिन फंगल इन्फेक्शन (fungal infection) का लक्षण का इलाज करने के साथ-साथ एंटीफंगल दवाइयों से इसका सही समय पर उचित इलाज भी किया जाता है, जिससे यह इंफेक्शन पूरी तरह से ठीक हो जाता है.

डॉ अनिल बंसल लोगों को फंगल इंफेक्शन से डरने की लिए नहीं कह रहे हैं क्योंकि इसका पक्का इलाज उपलब्ध है. सही समय पर पकड़ में आने पर इस इंफेक्शन से जल्दी ही छुटकारा मिल जाता है.

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