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मुबारकपुर डबास वार्ड 44 में एमसीडी कर्मचारियों ने वेतन के लिए प्रदर्शन किया - दिल्ली एमसीडी के कर्मचारियों ने सैलरी की मांग की

एमसीडी के कर्मचारियों ने अपनी सैलरी की मांग को लेकर दिल्ली के किराड़ी विधानसभा वार्ड 44 में किया प्रदर्शन. इनका कहना है कि भाजपा और आम आदमी पार्टी दोनों पार्टियों से हमें कोई मतलब नहीं, हमें हमारा वेतन चाहिए.

MCD employees protested in Delhi for salary
एमसीडी कर्मचारियों ने किया प्रदर्शन

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Published : Jan 13, 2021, 6:50 PM IST

नई दिल्ली: किराड़ी विधानसभा के मुबारकपुर डबास वार्ड 44 में प्रदर्शन कर रहे एमसीडी कर्मचारियों ने कहा कि नगर निगम इन दिनों आर्थिक बदहाली के दौर से गुजर रहा है. भाजपा और आप दोनों पार्टियां एक-दूसरे पर कीचड़ उछाल रही हैं. आगामी चुनाव को लेकर राजनीति हो रही है.

एमसीडी कर्मचारियों ने किया प्रदर्शन

कर्मचारियों को चार महीने की सैलरी नहीं मिली है. 15 जनवरी को 5 महीने होने जा रहा है. निगम की आर्थिक बदहाली का अंदाजा इसी बात से लगाया जा सकता है कि 4 महीने से निगम अपने किसी भी कर्मचारी को तनख्वाह देने में पूरी तरह से नाकाम रही है.

भारत मजदूर मंच के दिल्ली प्रदेश अध्यक्ष प्रिंस गोपी ने कहा हमारी मांगें इस प्रकार हैं-

1.कॉन्ट्रैक्ट पर रखे गए सभी कर्मचारियों को पक्का किया जाए. लेकिन अभी तक इस मांग को लेकर निगम की तरफ से कोई कार्यवाही नहीं की गई.

2. सैलरी का समय तय होना चाहिए. जबकि 4 महीने से सैलरी नहीं मिली.

3.1अप्रैल 2004 से सफाई कर्मचारी पक्का माने गए हैं. उनकी FR17 लगाए गए थे 2019-20 में उन्हें हटाया जाए.

4. हमारे पक्के कर्मचारियों के बच्चों की फीस और कन्वेंस का साधन किया जाए.

5.हमारे जो डेम्स कर्मचारी हैं उनकी हाजिरी का समय सुबह 8:30 से 9 बजे किया जाए.

प्रिंस गोपी कहते हैं कि इस वक्त दोनों सरकारें सफाई कर्मचारियों की सैलरी को लेकर राजनीति कर रही हैं, लेकिन ईस्ट ओर नॉर्थ एमसीडी के कर्मचारियों के लिए पैसा नहीं है तो फिर साउथ एमसीडी को देने के लिए पैसा कहां से आया.

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उनकी सैलरी कैसे मिल रही है. प्रिंस गोपी कहते हैं निगम के कर्मचारियों का पैसा हमारे महापौर के पास है. हम नुमाइंदे नगर निगम के हैं न कि आम आदमी पार्टी के. हमें मतलब है निगम के अंदर महापौर से, स्टैंडिंग कमेटी से, हमारे कमिश्नर से. हम अब किसी का दरवाजा नहीं खटखटाएंगे. हमारे महापौर और कमिश्नर चर्चा करें बात करें और हमें हमारी सैलरी दें जल्द से जल्द.

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