नई दिल्ली/नोएडाः कर्मचारियों के मुताबिक अगर उनकी मांग को आगे नहीं बढ़ाया गया तो वह हड़ताल पर चले जाएंगे जिससे पूरे जिला अस्पताल ओपीडी से लेकर वार्ड तक सभी सेवाएं ठप हो जाएंगी.
आए दिन होती रहती है हड़ताल
नोएडा सेक्टर 30 स्थित जिला अस्पताल उत्तर प्रदेश की पूर्व मुख्यमंत्री मायावती का ड्रीम प्रोजेक्ट माना जाता है जो की करोड़ों रुपए की लागत से बनवाया गया था, लेकिन अस्पताल आए दिन किसी न किसी विवाद में घिरा रहता है, कभी फार्मासिस्ट अपनी मांग को लेकर हड़ताल करते है तो कभी सफाई कर्मचारी वेतन की मांग को लेकर हड़ताल करते रहते है.
मुख्यमंत्री को दे चुके है जानकारी
करीब 100 बेड वाले इस अस्पताल में 100 से अधिक संविदा पर नर्सिंग स्टाफ पी एंड एम कंपनी के माध्यम से कार्य कर रहे हैं जिनका कांट्रेक्ट आगामी 30 मार्च को खत्म होने जा रहा है. इस कांट्रेक्ट को आगे बढ़ाने के संबंध में सभी संविदा कर्मचारी मुख्यमंत्री से लेकर सीएमओ, सीएमएस सहित जिलाधिकारी और अन्य स्वास्थ्य विभाग के अधिकारियों को जानकारी दे चुके हैं.
नोएडा जिला अस्पताल में 11 मार्च से संविदा कर्मचारी अनिश्चितकालीन हड़ताल पर!
11 मार्च को करेंगे हड़ताल
यह समस्या जिला अस्पताल में कार्यरत संविदा कर्मचारियों को सिर्फ नोएडा में ही नहीं बल्कि पूरे उत्तर प्रदेश में है. इन संविदा कर्मचारियों के हड़ताल पर जाने से अस्पताल में मरीजों के होने वाले इलाज से लेकर ओपीडी और वार्डों की भी हालत बिगड़ सकती है. अपनी मांगों को लेकर संविदा के नर्सिंग स्टाफ सोमवार यानी 11 मार्च को अनिश्चितकालीन हड़ताल करने की योजना बना ली है जिसकी सूचना उन्होंने स्वास्थ विभाग के अधिकारियों को दे दी है.
परमानेंट स्टाफ की संख्या काफी कम
बता दें कि जिला अस्पताल में परमानेंट नर्सिंग स्टाफ की संख्या मात्र 18 है जो कि मरीजों और बेड़ की संख्या के हिसाब से बहुत कम है. जिसकी भरपाई इन संविदा कर्मचारियों से की जाती है.100 से अधिक संविदा कर्मचारियों के हड़ताल पर जाने से नोएडा के जिला अस्पताल और वहां आने वाले मरीजों को बड़ी समस्या से गुजरना पड़ सकता है. इस हड़ताल से आपातकालीन सेवा भी प्रभावित हो सकती है.