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दिवाली से ही पहले नोएडा में बढ़ा प्रदूषण का ग्राफ

नोएडा में दिवाली से पहले ही प्रदूषण का ग्राफ ऊपर जाने (Pollution graph increased in Noida before Diwali) लगा है. हालात ये है कि प्रदूषण का स्तर रेड जोन में पहुंच चुका है, जिससे कहा जा रहा है कि जल्द ही ग्रेडेड रिस्पॉन्स एक्शन प्लान (ग्रैप) की पाबंदियां लागू की जा सकती हैं.

Pollution graph increased in Noida before Diwali
Pollution graph increased in Noida before Diwali

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Published : Oct 19, 2022, 3:42 PM IST

नई दिल्ली/नोएडा:ग्रेटर नोएडा और नोएडा में प्रदूषण का स्तर एक बार फिर तेजी से बढ़ रहा (Pollution graph increased in Noida before Diwali) है. बुधवार को नोएडा का वायु गुणवत्ता सूचकांक 446 और ग्रेटर नोएडा का वायु गुणवत्ता सूचकांक 292 दर्ज किया गया, जो रेड जोन की श्रेणी में आता है. इससे खासकर बुजुर्गों और बच्चों की आंखों में जलन और सांस लेने में दिक्कत जैसी समस्याएं सामने आ रही हैं. हालांकि इससे निपटने के लिए जिला प्रशासन और प्रदूषण विभाग ने कवायद शुरू कर दी है. कहा जा रहा है कि दिवाली के पहले प्रदूषण का स्तर बढ़ने से पांबदिया बढ़ाई जा सकती हैं.

वहीं, शहर में स्मॉग भी देखा जा रहा है. साथ ही हवा में उड़ता धूल और धुआं, शहर की हवा को दूषित करने के साथ-साथ पीएम (पार्टिकुलेट मैटर) की मात्रा बढ़ा रहा है. इसे देखते हुए प्रदूषण नियंत्रण बोर्ड ने प्राधिकरण को क्षेत्रों में धूल की सफाई के दौरान पानी का छिड़काव कराने की एडवाइजरी की है. इस संबंध में यूपीपीसीबी के अधिकारियों ने बताया कि अभी ग्रेडेड रिस्पॉन्स एक्शन प्लान (ग्रैप) की पाबंदियां लागू नहीं की गई हैं. यह मौसम के आधार पर लागू किया जाता है. अनुमान है कि जल्द ही ग्रैप लागू कर दिया जाए.

नोएडा में बढ़ा प्रदूषण का ग्राफ

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उन्होंने यह भी बताया कि इसके लागू होने के बाद प्रतिदिन प्रमुख सड़कों पर पानी का छिड़काव, खुले में आग लगाने पर पाबंदी, और सड़कों की सफाई की जाएगी. साथ ही वायु प्रदूषण के मानकों का उल्लंघन करने पर कम से कम 10 हजार रुपये का जुर्माना लगाया जाएगा. इसके लिए प्रदूषण नियंत्रण बोर्ड और प्राधिकरण ने टीमें भी बना ली हैं. साथ ही निर्माण स्थलों पर स्मॉग गन लगाने की भी तैयारी कर ली गई है. बता दें कि नोएडा में जिस तेजी से प्रदूषण का स्तर बढ़ रहा है उससे लोगों में ब्रोंकाइटिस, अस्थमा, डिप्रेशन और बेचैनी जेसी स्वास्थ्य समस्याएं बढ़ सकती हैं. वहीं प्रशासन, प्रदूषण को नियंत्रित करने की पूरी कोशिश कर रहा है.

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