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तिहाड़ में कैदी से यौन शोषण के मामले में NHRC ने जारी किया नोटिस, चार हफ्ते में मांगी रिपोर्ट

दिल्ली के तिहाड़ जेल नंबर सात में एक कैदी से सुडोमी (यौन शोषण) का मामला सामने आया था. अन्य कैदियों ने पीड़ित के साथ जमकर मारपीट भी की थी. अब इस मामले पर राष्ट्रीय मानवाधिकार आयोग (एनएचआरसी) ने स्वतः संज्ञान लिया है और दिल्ली सरकार के मुख्य सचिव और कारागार महानिदेश को नोटिस जारी किया है. (sexual abuse of prisoner in Tihar Jail)

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Published : Jan 2, 2023, 7:41 PM IST

नई दिल्लीः तिहाड़ जेल में कैदियों द्वारा एक अन्य कैदी का यौन उत्पीड़न किये जाने संबंधी खबरों को लेकर राष्ट्रीय मानवाधिकार आयोग (एनएचआरसी) ने दिल्ली सरकार के मुख्य सचिव और कारागार महानिदेशक को नोटिस जारी किया है. आयोग के अधिकारियों ने सोमवार को इस बारे में जानकारी दी. उन्होंने बताया कि राष्ट्रीय मानवाधिकार आयोग ने मामले की जांच के लिए अपनी टीम को मौके पर भेजने का फैसला किया है. (sexual abuse of prisoner in Tihar Jail)

मानवाधिकार आयोग द्वारा जारी एक बयान के अनुसार, तिहाड़ जेल में कैदियों द्वारा एक 22 वर्षीय कैदी का कथित तौर पर यौन उत्पीड़न किए जाने को लेकर 30 दिसंबर को मीडिया में आई खबरों पर एनएचआरसी ने स्वत: संज्ञान लिया है. बयान के अनुसार, पीड़ित कैदी का इलाज फिलहाल चल रहा है. एनएचआरसी ने कहा कि अगर मीडिया में आई खबर सही है, तो यह पीड़ित के जीवन और गरिमा के अधिकार का उल्लंघन है.

दिल्ली सरकार के मुख्य सचिव और कारागार महानिदेशक को जारी नोटिस के अनुसार, आयोग ने चार सप्ताह के भीतर विस्तृत रिपोर्ट तलब किया है. बयान में कहा गया है कि रिपोर्ट में पीड़ित के स्वास्थ्य की मौजूदा स्थिति, दोषी अधिकारियों और आरोपी कैदियों के खिलाफ की गई कार्रवाई के साथ-साथ भविष्य में ऐसी घटनाओं की पुनरावृत्ति न हो, यह सुनिश्चित करने के लिए उठाए गए कदम और उठाए जाने वाले कदम के बारे में जानकारी देने को कहा गया है.

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बता दें, तिहाड़ जेल नंबर 7 के एक कैदी से सुडोमी (कुकर्म) का मामला सामने आया था. इसके साथ ही उसके साथ अन्य कैदियों ने बुरी तरह मारपीट भी की थी. हालात बिगड़ने पर पीड़ित कैदी को लेडी हार्डिंग अस्पताल में भर्ती कराया गया था. परिजनों ने जेल प्रशासन पर मामले को दबाने के साथ-साथ पीड़ित से नहीं मिलने देने का भी आरोप लगाया था. परिजनों को जब पीड़ित के अस्पताल में भर्ती होने की जानकारी मिली तो वे पीड़ित से मिलने पहुंचे. पीड़ित कैदी ने अपने परिजन को सारी बातें बताई, जिसके बाद परिजनों ने हरी नगर थाने के साथ-साथ वेस्ट जिले के डीसीपी से भी लिखित शिकायत की थी.

(इनपुटः भाषा)

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