दिल्ली

delhi

ETV Bharat / state

रेलवे स्टेशनों को चलाने के लिए छह महीने में पर्यावरणीय अनुमति देने का आदेश

नेशनल ग्रीन ट्रिब्यूनल (एनजीटी) ने बुधवार को केंद्रीय प्रदूषण नियंत्रण बोर्ड (सीपीसीबी) को रेलवे स्टेशनों के आवेदन पर छह महीने के भीतर अंतिम रूप देने का निर्देश दिया, ताकि परिचालन की अनुमति दी जा सके.

National Green Tribunal
नेशनल ग्रीन ट्रिब्यूनल

By

Published : Aug 19, 2020, 10:34 PM IST

नई दिल्ली: नेशनल ग्रीन ट्रिब्यूनल (NGT) ने केंद्रीय प्रदूषण नियंत्रण बोर्ड (CPCB) को निर्देश दिया है कि वह रेलवे स्टेशनों के चलाने की अनुमति संबंधी आवेदन पर 6 महीने के अंदर फैसला करें. एनजीटी ने राज्यों के प्रदूषण नियंत्रण बोर्ड को निर्देश दिया कि वो ट्रेनों के डिब्बों से निकलने वाले कचरे को ट्रेनों के गंतव्य वाले स्टेशन पर ही जाकर उनका निस्तारण करें. एनजीटी चेयरपर्सन जस्टिस आदर्श कुमार गोयल की अध्यक्षता वाली बेंच ने कहा टायलेट के मल का निस्तारण स्टेशन पर नहीं किया जाए.

नेशनल ग्रीन ट्रिब्यूनल ने रेलवे को पर्यावरणीय मंजूरी हासिल करने का दिया निर्देश
वाटर और एयर एक्ट के तहत आवेदन दायर

एनजीटी ने इस बात पर गौर किया की 720 बड़े रेलवे स्टेशनों में से केवल 11 ने ही वाटर एक्ट और एयर एक्ट के तहत स्वीकृति के लिए आवेदन दाखिल किया है. एनजीटी ने कहा केंद्रीय प्रदूषण नियंत्रण बोर्ड और राज्यों की प्रदूषण नियंत्रण बोर्ड कानून का पालन नहीं करने वाले स्टेशनों पर कार्रवाई करने के लिए स्वतंत्र हैं. एनजीटी ने कहा की रेलवे बोर्ड भी अपनी मॉनिटरिंग प्रक्रिया शुरु कर सकती है और यह पता लगा सकती है कि कौन से स्टेशन पर्यावरण कानूनों का पालन कर रहे हैं और कौन नहीं.

1 अप्रैल 2020 से चार्ज वसूला जाएगा

एनजीटी ने कहा कि जो स्टेशन चलाने की अनुमति के लिए आवेदन कर रहे हैं, उनसे 1 अप्रैल 2020 से ही चार्ज वसूला जाएगा उसके पहले से नहीं. स्टेशनों के आवेदन पर 3 महीने के अंदर फैसला करना होगा. एनजीटी ने कहा कि स्वच्छ भारत अभियान के तहत रेलवे लाइनों की साफ सफाई के लिए समयबद्ध एक्शन प्लान बनाया गया है. रेलवे लाइनों पर खुले में शौच करने और अतिक्रमण को हटाने के लिए भी योजना बनाई गई है.



पर्यावरणीय मंजूरी हासिल करने का निर्देश दिया था

पहले की सुनवाई में एनजीटी ने रेलवे स्टेशनों को निर्देश दिया था कि वे पर्यावरणीय मंजूरी हासिल करें. क्योंकि स्टेशनों पर प्रदूषण फैलाने का काम बदस्तूर जारी है. एनजीटी ने कहा कि एनवायरमेंट एक्ट सभी बड़े रेलवे स्टेशनों पर लागू होता है. एनजीटी ने रेलवे को निर्देश दिया था कि वो देश भर में 36 स्टेशनों की पहचान कर उन्हें ईको-स्मार्ट स्टेशन के रुप में विकसित करें. और वहां के प्लेटफार्म और रेलवे लाइन पर की जा रही साफ-सफाई संबंधी एक्शन प्लान सौंपें. याचिका सलोनी सिंह और आरुष पठानिया ने दायर की थी. याचिका में कहा गया है कि रेलवे में साफ-सफाई और पर्यावरण नियमों के पालन के लिए दिशानिर्देश जारी किया जाए.

ABOUT THE AUTHOR

...view details