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केजरीवाल ने डीआईजेड एरिया में रह रहे लोगों की समस्या को लेकर केंद्रीय शहरी विकास मंत्री को लिखा पत्र - खाली पड़े मकानों में अराजक तत्वों का जमावड़ा

मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल ने डीआईजेड एरिया में रह रहे लोगों की समस्या से केंद्रीय शहरी विकास मंत्री को उनकी समस्याओं से अवगत कराया. मुख्यमंत्री ने हरीदीप पुरी को पत्र लिखकर यहां रह रहे लोगों की समस्याओं को जल्द से जल्द इसके समाधान का अनुरोध किया है.

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Published : May 26, 2023, 9:11 PM IST

नई दिल्ली: मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल ने नई दिल्ली विधानसभा क्षेत्र के सेक्टर-4 राजा बाजार स्थित कर्मचारी आवास समिति की शिकायतों को बेहद गंभीरता से लिया है. मुख्यमंत्री ने शुक्रवार को केंद्रीय शहरी विकास मंत्री हरीदीप पुरी को पत्र लिखकर यहां रह रहे लोगों की समस्याओं से अवगत कराया है और जल्द से जल्द इसके समाधान का अनुरोध किया है.

सीएम ने कहा कि डीआईजेड एरिया में 2018 से ही मकानों का आवंटन बंद है. इस वजह से यहां करीब 75 फीसदी मकान खाली हैं और वे बंद पड़े हैं. इसके चलते यहां आपराधिक गतिविधियां बढ़ गई हैं. इसलिए यहां रह रहे लोगों की सुरक्षा को देखते हुए इन्हें कुछ ब्लॉकों में एक साथ शिफ्ट कर दिया जाए, ताकि ये लोग खुद को सुरक्षित महसूस कर सकें. अगर इन मकानों को तोड़कर नए सिरे से बनाने की कोई योजना है तो पहले इन्हें आसपास शिफ्ट किया जाए, तब इनके मकान तोड़ें जाएं.

इस इलाके की है समस्या:मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल ने केंद्रीय शहरी विकास मंत्री हरदीप पुरी को लिखे पत्र में कहा है कि नई दिल्ली विधानसभा के कर्मचारी आवास कल्याण समिति सेक्टर-4 राजा बाजार के सदस्यों ने मुझसे मुलाकात कर डीआईजेड एरिया के टाइप-1 और टाइप-2 के आवंटित मकानों की विभिन्न समस्याओं से अवगत कराया. इसके बाद मैने वहां जाकर निवासियों की समस्याओं का जायजा लिया. डीआईजेड एरिया में साल 2018 से मकानों का आवंटन बंद है. इस वजह से यहां बंद पड़े मकानों की हालत दिन-प्रतिदिन खराब होती जा रही है.

सेक्टर-4 में आवंटन बंद होने के कारण 75 फीसदी मकान खाली हो गए हैं और केवल 25 फीसदी मकानों में ही लोग रह रहे हैं. अधिकतर मकान खाली होने के कारण यहां आपराधिक गतिविधियां बहुत ज्यादा बढ़ गई हैं, यहां रहने वाले निवासियों के साथ आए दिन चोरी व डराने-धमकाने समेत अन्य घटनाएं हो रही हैं. खाली पड़े मकानों में अराजक तत्वों का जमावड़ा लग रहा है. इससे सरकारी संपत्ति को भी नुकसान पहुंच रहा है. मकानों का मरम्मत कार्य पूरी तरह से बंद कर दिया गया है, जबकि यहां अभी भी आवंटी रह रहे हैं. मकानों के खाली पड़े होने के कारण सरकार को हर साल राजस्व का भी भारी नुकसान हो रहा है.

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सभी को एक साथ किया जाए शिफ्ट:सीएम अरविंद केजरीवाल ने पत्र में आवंटियों की मांगों से अवगत कराते हुए कहा है कि जो आवंटी अब यहां बच गए हैं, उन सभी को एक साथ कुछ ब्लॉक्स में शिफ्ट कर दिया जाए, ताकि वे सब एक साथ रह सकें. अभी एक ब्लॉक में 16 घर हैं और उसमें से 3-4 घर में ही लोग रह रहे हैं, बाकी सब खाली हैं. इसके चलते लोग आए दिन चोरी आदि का सामना करते हैं. एक साथ शिफ्ट करने से ये लोग सुरक्षित महसूस करेंगे जिन कुछ ब्लॉक्स में इन्हें शिफ्ट किया जाए, उनकी मरम्मत का काम ज़रूर करवाया जाए, ताकि लोग इज्जत और सम्मान की जिंदगी बसर कर सकें.

मुख्यमंत्री ने लिखा पत्र.

अगर नए सिरे से मकानों को बनाने का प्लान है, तो उन्हें कुछ टॉवर बना कर पहले वहां शिफ्ट कर दिया जाए, तभी यहां के मकान तोड़े जाएं. यदि यह संभव न हो तो आसपास के इलाकों में इन्हें मकान आवंटन किए जाएं, क्योंकि कई सालों से ये लोग यहीं रह रहे हैं और इनके बच्चों के स्कूल भी यहीं आसपास ही हैं. मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल ने पत्र के माध्यम से केंद्रीय शहरी विकास मंत्री से दिल्ली विधानसभा के कर्मचारी आवास कल्याण समिति के सदस्यों की विभिन्न समस्याओं पर संज्ञान लेने का आनुरोध किया है. साथ ही जल्द से जल्द समस्याओं के समाधान की मांग की है.

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