नई दिल्लीः दिल्ली विश्वविद्यालय (डीयू) अपने पाठ्यक्रम में डॉ. भीमराव अंबेडकर और महात्मा गांधी को एक अर्थशास्त्री के रूप में शामिल करने जा रहा है. डीयू के छात्र अब अंबेडकर और गांधी के भारतीय अर्थव्यवस्था के बारे में व्यक्त किए गए विचारों और विश्व की अर्थव्यवस्था के साथ भारत का क्या समन्वय हो सकता है इसके बारे में जान सकेंगे. इन दोनों महापुरुषों पर डीयू के पाठ्यक्रम में एक पेपर शामिल होगा. कुलपति ने इस मामले में अकादमिक परिषद की एक समिति का गठन किया है. समिति इस मामले में रिपोर्ट देगी उसके बाद इस पर विचार होगा.
डॉ. अंबेडकर ने की थी लंदन स्कूल आफ इकोनॉमिक्स से अर्थशास्त्र में पीएचडी
डॉ. अंबेडकर व महात्मा गांधी के अर्थशास्त्री होने को लेकर डीयू के स्कूल आफ ओपन लर्निंग (एसओएल) में अर्थशास्त्र विभाग के प्रोफेसर जनमेजय खुंटिया कहते हैं कि डा. भीमराव अंबेडकर तो थे ही अर्थशास्त्री. उन्होंने लंदन के प्रसिद्ध लंदन स्कूल आफ इकोनॉमिक्स से अर्थशास्त्र में पीएचडी की थी. उनका भारत की अर्थव्यवस्था को लेकर एक अलग ही चिंतन था. उन्होंने भारत के दलित और निचले तबके के लोगों को भारत की अर्थव्यवस्था का प्रमुख अंग बताया था. भारत के लेबर फोर्स में इस वर्ग के लोगों की संख्या तब भी सबसे अधिक थी और अब भी है.
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भारत के उद्योगों में और कृषि में दोनों जगह ही श्रमिक के रूप में यही लोग काम करते थे. इनकी संख्या अधिक होने के कारण भारत में सस्ते दर पर लेबर भी मिलती थी. इसलिए अंबेडकर ने कहा था कि इस वर्ग की उपेक्षा करके भारत कभी आत्मनिर्भर नहीं बन सकता है. इसलिए इन वर्गों को समानता की श्रेणी में शामिल करने के लिए अंबेडकर ने आरक्षण व्यवस्था का खाका खींचा था और उन्होंने कल्याणकारी अर्थशास्त्र की बात की थी. अर्थशास्त्र में लेबर उत्पादन का अहम अंग है. भारत में एससी और ओबीसी की सबसे अधिक आबादी है. इसलिए अंबेडकर ने इन सभी के कल्याण की बात करते हुए कहा था कि अगर इन जातियों का कल्याण नहीं होगा तो भारत की जीडीपी ग्रोथ नहीं करेगी.
इसी तरह महात्मा गांधी ने भी गांव और कृषि को भारत की अर्थव्यवस्था का अभिन्न अंग बताया था. उन्होंने गांव में स्वरोजगार की बात कही थी. ग्रामीण अर्थव्यवस्था के मजबूत होने से ही भारत आर्थिक मोर्चे पर मजबूत हो सकता है. लेकिन, अंबेडकर और महात्मा गांधी की अर्थशास्त्रीय दृष्टि से लोग अधिक परिचित नहीं हैं इसलिए इनको पूरी तरह जमीन पर नहीं उतारा जा सका है.