नई दिल्ली: DERC की तरफ से बुधवार को घोषणा की गई कि बिजली के फिक्स्ड चार्ज में कमी की जा रही है. डीईआरसी के अनुसार शून्य से 2 किलो वाट तक के चार्ज में कमी करके इसे 125 रुपये से 20 प्रति किलो वाट कर दिया गया है.
गोपाल राय से ETV भारत की खास बातचीत गोपाल राय से खास बातचीत
वहीं 2 से 5 किलोवाट तक के चार्ज को 140 से घटाकर 50 रुपये और 5 से 15 किलोवाट तक के चार्ज को 175 से घटाकर 100 रुपये कर दिया गया है. इसी मामले को लेकर ईटीवी भारत ने दिल्ली सरकार के कैबिनेट मंत्री गोपाल राय से बातचीत की. इस सवाल पर कि चुनाव से ऐन पहले फिक्स्ड चार्ज को कम करना क्या एक चुनावी फैसला है और क्या इसे चुनावी नजरिए से देखा जाना चाहिए? इस पर गोपाल राय ने कहा कि इसे इसलिए चुनावी नजरिए से देख सकते हैं, क्योंकि दिल्ली के अंदर एक ऐसा मुख्यमंत्री है, जिसने अब तक जितने काम किए हैं, सभी जनता के हित में किए हैं.
गोपाल राय ने यह भी कहा कि सरकार बनने के बाद से ही दिल्ली में बिजली के बिल आधे हुए और उसके बाद से अब तक देखें तो लगातार दिल्ली सरकार पूरे देश भर में सबसे सस्ती बिजली दे रही है और इसके लिए मैं मुख्यमंत्री को बधाई देना चाहता हूं.
ट्विटर पर वार-पलटवार
गौरतलब है कि इसे लेकर अरविंद केजरीवाल के ट्वीट के तुरंत बाद मनोज तिवारी ने कहा था कि केजरीवाल सरकार ने फिक्स्ड चार्ज में कमी करके अपनी गलती मान ली है. इस पर गोपाल राय ने कहा कि दिल्ली के बगल में एक तरफ हरियाणा और एक तरफ उत्तर प्रदेश है. हरियाणा में दिल्ली की तुलना में दोगुनी कीमत पर बिजली मिल रही है. वहीं उत्तर प्रदेश में तिगुनी कीमत पर. मनोज तिवारी जी इन राज्यों के लोगों के बारे में सोचें, उन्हें दिल्ली के बारे में सोचने की जरूरत नहीं है.
बीजेपी और कांग्रेस ने लगाए थे आरोप
गौरतलब है कि फिक्स्ड चार्ज के मुद्दे पर पिछले लंबे समय से राजनीतिक आरोप-प्रत्यारोप का दौर जारी है. कांग्रेस और भाजपा ने इसे लेकर आम आदमी पार्टी सरकार पर आरोप भी लगाया था कि फिक्स्ड चार्ज में बढ़ोतरी एक तरह से घोटाला है. अब जब इसमें कमी हो गई है, देखने वाली बात होगी कि इसपर जारी राजनीति कहां तक जाती है.