नई दिल्ली:दिल्ली पुलिस की स्पेशल सेल ने वित्त मंत्रालय का अधिकारी बनकर ठगी करने वाले गिरोह का भंडाफोड़ किया है. आरोपी खुद को वित्त मंत्रालय का अधिकारी बताते और प्रमाण के लिए वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण के हस्ताक्षरित आई कार्ड भी प्रस्तुत करते थे. पुलिस ने आरोपियों के पास से 3,000 से अधिक निवेशकों का डाटा बरामद किया है. आरोपियों की पहचान मेहताब आलम, सरताज, मोहम्मद जुनेद और दीन मोहम्मद के रूप में की गई है. इनके पास से 7 मोबाइल फोन, एक लैपटॉप, कई बैंकों के एटीएम कार्ड और पासबुक के साथ-साथ पीड़ितों के साथ की गई बातचीत का रिकॉर्ड पुलिस ने जब्त किया है.
स्पेशल सेल के IFSO ब्रांच के पुलिस उपायुक्त प्रशांत गौतम ने बताया कि आरोपियों ने वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण वित्त सचिव और आरबीआई के गवर्नर तक के हस्ताक्षरित आई कार्ड बना रखे थे. आरोपी नकली कार्ड के जरिए बीमा कंपनियों से संपर्क करते और उनसे निवेशकों और बीमा धारकों की निजी जानकारियां ले लेते थे. इन जानकारियों के जरिए वह निवेशकों और बीमा धारकों को अलग-अलग लाभ और बोनस देने के बहाने ठगी का शिकार बनाते थे.
मामला संज्ञान में तब आया जब एक व्यक्ति ने वित्त मंत्रालय को शिकायत कर जानकारी दी कि आरोपियों ने उसे एक करोड़ बीस लाख का फर्जी चेक भेज कर करीब सवा लाख रुपए ठग लिए. घटना की जानकारी मिलने के बाद स्पेशल सेल की IFSO ब्रांच ने मामले की जांच शुरू की. इस दौरान सामने आया कि आरोपी लगातार अपनी लोकेशन बदलकर ठगी को अंजाम दे रहे हैं. लगातार दबिश और जानकारी के बाद पुलिस ने घटना के मुख्य किरदार महताब आलम को गिरफ्तार कर लिया. महताब आलम की निशानदेही पर अन्य तीनों आरोपियों को भी गिरफ्तार कर लिया गया है. पुलिस आरोपियों से पूछताछ कर अन्य पीड़ितों की जानकारी लेने का प्रयास कर रही है.
केवल 12वीं और बीकॉम पास हैं आरोपी