नई दिल्ली: दिल्ली विश्वविद्यालय एवं समर्थ भारत के सामूहिक तत्वावधान में करियर डेवलपमेंट सेंटर (सीडीसी) का शुभारंभ दिल्ली विश्वविद्यालय के वाइस रीगल लॉज के कन्वेंशन हॉल में किया गया. इस अवसर पर दिल्ली विश्वविद्यालय, समर्थ भारत, दिल्ली विश्वविद्यालय के एसओएल तथा विश्वविद्यालय से संबंधित 20 कॉलेजों के बीच एमओयू भी साइन किए गए. दिल्ली विश्वविद्यालय के शताब्दी वर्ष के दौरान शुरू की गई इस अनूठी पहल के तहत विद्यार्थियों को इन करियर डेवलपमेंट सेंटरों के माध्यम से रोजगारोन्मुखी बनाया जाएगा.
इस अवसर पर कार्यक्रम की अध्यक्षता करते हुए दिल्ली विश्वविद्यालय के कुलपति प्रो. योगेश सिंह ने कहा विद्यार्थियों के लिए यह उच्च शिक्षा में कौशल के विभिन्न प्रकारों से परिचित होने की शुरुआत है. उन्होने कहा कि उच्च शिक्षा में मौलिकता, रचनात्मकता और कल्पनाशीलता पर काम करके ही नवाचार और उद्यमशीलता को गति दी जा सकती है और ये सेंटर विश्वविद्यालय में ऐसा माहौल तैयार करने में महत्वपूर्ण भूमिका निभाएंगे. कुलपति ने कहा कि राष्ट्रीय शिक्षा नीति 2020 में अंडर ग्रेजुएट पाठ्यक्रम में कौशल और उद्यमशीलता आदि का प्रावधान किया गया है. उन्होने बताया कि विश्वविद्यालय ने उद्यमोदय फाउंडेशन के नाम से एक सेक्शन-8 कंपनी भी स्थापित की है जोकि विश्वविद्यालय और विभिन्न कालेजों में बिजनेस इंक्यूबेटर स्थापित करेगी.
आय 13 हजार डॉलर प्रति वर्ष चाहिए
प्रो. योगेश सिंह ने कहा कि देश की प्रति व्यक्ति आय एक लाख 50 हजार रुपए प्रति वर्ष है जबकि विकसित राष्ट्र बनने के लिए हमें प्रति व्यक्ति आय 13 हजार डॉलर प्रति वर्ष चाहिए. यानि हमें विकसित राष्ट्र बनने के लिए इसे 6 गुना बढ़ाना होगा. इसके लिए हमें लक्ष्य निर्धारित करने होंगे ताकि 2047 तक देश को विकसित राष्ट्र बनाने के लिए हर क्षेत्र में 6 गुणा ग्रोथ प्राप्त कर सकें.
उन्होंने कहा कि यूपीआई ने डिजिटलाइजेशन में इतना बड़ा काम किया है कि दुनिया के किसी भी देश में नहीं हुआ. उन्होंने इसके लिए भारत सरकार को धन्यवाद देते हुए कहा कि हम सही दिशा में सही रास्ते पर जा रहे हैं और इसी दिशा में हमें और काम करने होंगे. कुलपति ने कहा कि इसके लिए हमें युवा मस्तिष्कों को इस दिशा में तैयार करना होगा और इसके लिए विश्वविद्यालय और शिक्षक महत्वपूर्ण भूमिका अदा कर सकते हैं. उन्होने कहा कि इस कार्यक्रम में अनेकों ख्यातिप्राप्त उद्यमियों के शामिल होने से युवाओं को प्रेरणा मिलेगी और इससे अच्छे परिणाम प्राप्त होंगे.