नई दिल्ली/गाजियाबाद: जिले के नंदग्राम इलाके में हाल ही में हुए कथित गैंगरेप में पीड़ित महिला को अस्पताल से डिस्चार्ज कर (Victim woman discharged from hospital) दिया गया है. इससे पहले पुलिस ने बताया था कि गैंगरेप की घटना फर्जी थी. पुलिस ने दावा किया था कि महिला ने अपने साथ गैंगरैप होने की जो बात कही वह मनगढ़ंत है, और कहानी को बढ़ा चढ़ाकर पेश किया गया था.
आधिकारिक सूत्रों की मानें तो महिला की हालत में सुधार होने के बाद उसे अस्पताल से डिस्चार्ज कर दिया गया. कहा जा रहा है कि अगर यह मामला झूठा साबित हो गया तो पुलिस महिला पर कार्रवाई भी कर सकती है. इससे पहले पुलिस ने प्रेस कांफ्रेंस करके बताया था कि महिला के कथित पुरुष मित्र आजाद की भूमिका संदिग्ध थी, जिसके बाद आजाद और उसके दो साथियों को गिरफ्तार भी किया गया था.
कहा जा रहा है कि आजाद का कथित गैंगरेप के आरोपियों में से एक के साथ संपत्ति का विवाद चल रहा था जिसके चलते उसने महिला के माध्यम से गैंगरेप के झूठे आरोप लगाने की बात कबूल की थी. पुलिस ने कहा कि महिला के साथ लोहे की रॉड वाली घटना पूरी तरह से फर्जी है. अगर इस तरह की घटना हुई होती तो महिला इतनी जल्दी डिस्चार्ज नहीं होती. वहीं महिला ने कहा था कि घटना में उसे गंभीर चोट आई और उसे बोरी में बंद कर के फेंक दिया गया था.