नई दिल्ली/ग्रेटर नोएडा:उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ द्वारा जहां एक तरफ जीरो टॉलरेंस की बात कही जाती है. वहीं प्रदेश के औद्योगिक शहर और गौतम बुद्ध नगर जिले में पुलिस विभाग ही रिश्वतखोरी करने में लगा है. इसका उदाहरण ग्रेटर नोएडा के रबूपुरा थाना में देखने को मिला, जहां एक कॉन्स्टेबल ने कबाड़ी से एक लाख रुपए रिश्वत की मांग की. हालांकि मामले में आरोपी कॉन्स्टेबल के खिलाफ कार्रवाई करते हुए उसे बर्खास्त कर दिया गया है.
दोनों की बातचीत का ऑडियो सोशल मीडिया पर वायरल होने के बाद पुलिस हरकत में आई और ग्रेटर नोएडा के बीटा-2 थाने में मुकदमा दर्ज किया गया. यह मुकदमा थाने के वरिष्ठ उप-निरीक्षक चंद्र प्रकाश शर्मा ने दर्ज कराया. पुलिस आयुक्त लक्ष्मी सिंह के मीडिया प्रभारी ने बताया कि एक वायरल प्रार्थना पत्र के आधार पर कॉन्स्टेबल अंकित बालियान (जो फिलहाल रबूपुरा थाने में कैद है) के खिलाफ धारा 13(1) (ए) के तहत मुकदमा दर्ज किया गया था.
वायरल ऑडियो में रबूपुरा कस्बे के निवासी वसीम कबाड़ी (पुत्र बाबू) ने आरोप लगाया कि कॉन्स्टेबल अंकित बालियान व्हाट्सऐप कॉल करके उससे एक लाख रुपए की रिश्वत मांग रहा है. साथ ही मांग पूरी ने होने पर पैर में गोली मारकर जेल भेजने की धमकी भी दी गई. पीड़ित ने इस बाबत पुलिस अधिकारियों से शिकायत की थी. अब कॉन्स्टेबल को सेवा से बर्खास्त किए जाने के साथ रबूपुरा थाने में तैनात उप निरीक्षक विमलेश को भी निलंबित कर दिया गया है. पूरे मामले में रबूपुरा थाना प्रभारी की भूमिका भी पाई गई है, जिसको लेकर प्रारंभिक विभागीय जांच के आदेश दिए गए हैं.