हैदराबाद: विजेंदर ने कहा कि लोग अगर चाहते हैं कि उनके नायक अपनी राय सार्वजनिक तौर पर रखें तो इसमें कोई बुराई नहीं है.
राजनीति की रिंग में करियर की नयी पारी की शुरुआत कर चुके विजेंदर सिंह पिछले पांच साल में पेशेवर मुक्केबाजी का कोई भी मुकाबला नहीं हारे और अब विश्व खिताब के साथ इस लय को कायम रखना चाहते हैं.
राजनीति और खेलों को अलग रखने की बात अक्सर की जाती है लेकिन पिछले कुछ समय से यह मांग जोर पकड़ने लगी है कि ज्वलंत मुद्दों पर खिलाड़ियों को भी बोलना चाहिये.
विजेंदर ने कहा कि लोग अगर चाहते हैं कि उनके नायक अपनी राय सार्वजनिक तौर पर रखें तो इसमें कोई बुराई नहीं है. उन्होंने कहा ,‘मुझे लगता है कि खिलाड़ियों को बोलना चाहिये. एक मुकाम पर हम भी प्रतिनिधि हैं और हमारी आवाज मायने रखती है . ऐसा नहीं होना चाहिये कि हम सिर्फ पैसा मिलने पर ही बोलें.’
भारत को मुक्केबाजी और विश्व चैंपियनशिप में ओलिंपिक का पहला पदक दिलाने वाले विजेंदर का पेशेवर सर्किट पर 12-0 का रिकॉर्ड है.
उन्होंने एक मीडिया एजेंसी से कहा ,‘अब मेरी सारी तैयारी विश्व खिताब की है. मैं इस साल तीन चार मुकाबले लड़ूंगा जिनमें विश्व खिताब बड़ा है . हम कोशिश कर रहे हैं कि ये मुकाबला भारत में हो.’ अमेरिका में टॉप रैंक प्रमोशंस और भारत में इंफिनिटी ऑप्टिमल सोल्यूशंस बॉक्सिंग प्रमोशंस उनका प्रबंधन देख रहा है. उन्होंने नवंबर 2019 में घाना के पूर्व राष्ट्रमंडल चैम्पियन चॉर्ल्स अदामू को एकतरफा मुकाबले में हराया था.