नई दिल्ली: पूर्व विश्व चैंपियन मीराबाई चानू ने भारतीय खेल प्राधिकरण (SAI) से आग्रह किया है कि उन्हें विदेशी स्ट्रेंथ एवं अनुकूलन कोच मुहैया कराया जाए जो चोटों के प्रबंधन में मदद करे.
पच्चीस साल की इस भारोत्तोलक (वेटलिफ्टर) ने टारगेट ओलिंपिक पोडियम योजना (टॉप्स) के तहत यह आग्रह किया है जिसे भारतीय भारोत्तोलन महासंघ (आईडब्ल्यूएलएफ) ने कोरोना वायरस महामारी के कारण भारत सरकार द्वारा राष्ट्रव्यापी लॉकडाउन लगाने से पहले मार्च में साई के पास भेज दिया था.
कमर के चोट के बाद पिछले साल सफल वापसी करने वाली मीराबाई ने कहा, 'भारोत्तोलन में चोट की काफी आशंका रहती है इसलिए मैंने लॉकडाउन से पहले टॉप्स समिति से स्ट्रेंथ एवं अनुकूलन कोच का आग्रह किया था.'
गोल्ड कोस्ट में 2018 में हुए राष्ट्रमंडल खेलों के बाद मीराबाई को कमर में चोट लगी थी. देश भर के चिकित्सक इस चोट का कारण ढूंढने में नाकाम रहे थे जिसके कारण मणिपुर की यह खिलाड़ी नौ महीने तक खेल से दूर रही थी और एशियाई खेल 2018 और विश्व चैंपियनशिप में हिस्सा नहीं ले पाई थी.
स्ट्रेंथ एवं अनुकूलन कोच शारीरिक प्रदर्शन पेशेवर होता है जो खिलाड़ियों को मजबूत बनाने वाली एक्सरसाइज बताता है और रिहैबिलिटेशन की प्रक्रिया में अहम भूमिका निभाता है.