नई दिल्ली:खेल मंत्रालय ने सुप्रीम कोर्ट को सूचित किया है कि अखिल भारतीय फुटबॉल महासंघ (एआईएफएफ) के अध्यक्ष प्रफुल्ल पटेल के पास खेल निकाय चलाने का कोई जनादेश नहीं है, क्योंकि उन्होंने अध्यक्ष के रूप में अपने तीन कार्यकाल पूरे किए हैं और राष्ट्रीय निकाय को बिना किसी देरी के चुनाव कराना चाहिए. मंत्रालय का जवाब 8 अप्रैल को सुप्रीम कोर्ट के समक्ष विशेष अनुमति याचिका (एसएलपी) के संबंध में एक हलफनामा दायर करने के बाद आया है, जिसमें वकील राहुल मेहरा भारत संघ के प्रतिवादियों में से एक हैं.
मंत्रालय ने अपने जवाब में (आईएएनएस के पास कॉपी है) इस बात की पुष्टि की है कि पटेल और उनकी समिति के पास अपने पदों पर बने रहने का कोई अधिकार नहीं है. आईएएनएस से बात करते हुए राहुल मेहरा ने मंत्रालय की दुर्दशा पर सवाल उठाते हुए कहा कि उसने एआईएफएफ के पदाधिकारियों के खिलाफ कोई कार्रवाई क्यों नहीं की, जबकि उनके पास पदों पर रहने का कोई अधिकार नहीं है.
उन्होंने आगे कहा, मंत्रालय ने अब तक कोई कार्रवाई क्यों नहीं की? उनका कार्यकाल समाप्त होने पर उन्होंने चुनाव क्यों नहीं कराया? और अब, मंत्रालय इस तरह के जवाब के साथ आया है जब मामला न्यायिक विचार के अधीन है. यह कुछ भी नहीं है. अब मंत्रालय एआईएफएफ के मौजूदा अध्यक्ष को हटाना चाहता है और पूरी कवायद उसी के लिए है.
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