नई दिल्ली: 2019 महिला हॉकी की युवा स्ट्राइकर लालरेम्सियामी एफआईएच महिला सीरीज फाइनल के दौरान अपने पिता को खोने की दुख को झेलने से लेकर टोक्यो ओलिंपिक 2020 में भारतीय महिला हॉकी टीम के साथ इतिहास रचने तक का एक लंबा सफर तय किया है. 21 वर्षीय स्ट्राइकर उस टीम का अभिन्न हिस्सा थीं और वह टोक्यो खेलों में चौथे स्थान पर रही थीं.
अपने ओलिंपिक अनुभव के बारे में लालरेम्सियामी ने कहा, "मैं थोड़ी घबराई हुई थी, जिसके चलते पहले तीन मैचों में मेरे प्रदर्शन में काफी प्रभाव डाला. लेकिन वरिष्ठ खिलाड़ियों और कोचिंग स्टाफ ने मुझे और अन्य जूनियर खिलाड़ियों को समझाया और काफी मदद की. वो हमें प्रेरित करते रहे और हमें स्वतंत्र रूप से खुद को व्यक्त करने के लिए कहा. हमने एक-दूसरे से तालमेल बना कर एक इकाई की तरह खेले, और मुझे लगता है कि इससे हमें वास्तव में अच्छा प्रदर्शन करने में मदद मिली."