Bishan Singh Bedi Death: आईसीसी ने पूर्व भारतीय कप्तान बिशन सिंह बेदी के निधन पर जताया शोक
पूर्व भारतीय कप्तान और महान स्पिनर बिशन सिंह बेदी का सोमवार को निधन हो गया. उनके निधन के बाद से क्रिकेट जगत में शोक की लहर छा गई है. अब आईसीसी ने भी उनके निधन पर दुख व्यक्त किया है. आईसीसी के मुख्य कार्यकारी ज्योफ एलार्डिस ने पोस्टे कर उन्हें श्रद्धांजली दी है.
हैदराबाद :अंतर्राष्ट्रीय क्रिकेट परिषद (आईसीसी) ने सोमवार को पूर्व भारतीय कप्तान और महान स्पिनर बिशन सिंह बेदी के निधन पर गहरा दुख व्यक्त किया है. लंबे समय से अस्वस्थ चल रहे स्पिन लीजेंड की कई सर्जरी हो चुकी थी. इस साल सितंबर के अंत में उनके घुटने की सर्जरी हुई थी. उनका 77 साल की उम्र में सोमवार को निधन हो गया. उनके परिवार में उनकी पत्नी अंजू और दो बच्चे नेहा और अंगद हैं. आईसीसी के मुख्य कार्यकारी ज्योफ एलार्डिस ने एक बयान में स्पिन दिग्गज के गुणों की प्रशंसा करते हुए कहा कि, 'वह फ्लाइट और टर्न के उस्तादों में से एक थे जिन्हें आने वाले वर्षों तक याद किया जाएगा.
Bishan Singh Bedi
ज्योफ एलार्डिस ने कहा, 'बिशन बेदी के निधन के बारे में सुनकर दुख हुआ. मैं खेल के महान खिलाड़ियों में से एक और टेस्ट क्रिकेट में जिनके कारनामे को लंबे समय तक याद रखा जाएगा, उनके परिवार के प्रति आईसीसी में हर किसी की ओर से हार्दिक संवेदना व्यक्त करना चाहता हूं. वह ऐसे स्पिनर थे जो विभिन्न परिस्थितियों में उत्कृष्ट प्रदर्शन कर सकते थे और किसी भी युग में महान खिलाड़ियों में से एक होते'.
सबसे महान बाएं हाथ के स्पिनरों में से एक माने जाने वाले बेदी इरापल्ली प्रसन्ना, बी.एस. चंद्रशेखर चन्द्रशेखर और एस. वेंकटराघवन के साथ प्रसिद्ध भारतीय स्पिन चौकड़ी का हिस्सा थे जिसने 1970 के दशक में घरेलू और विदेशी दोनों परिस्थितियों में भारत को कई मैच जिताए.
आईसीसी क्रिकेट हॉल ऑफ फेम में शामिल बेदी ने 1967 से 1979 के बीच 67 टेस्ट मैचों में 14 बार पांच विकेट के साथ 266 विकेट हासिल किए. उन्होंने 10 एक दिवसीय अंतरराष्ट्रीय मैचों में सात विकेट लिए. जब वह अंतरराष्ट्रीय क्रिकेट खेल रहे थे तब एक दिवसीय का ज्यादा चलन नहीं था. उन्होंने प्रथम श्रेणी क्रिकेट में भी बड़ी सफलता हासिल की. भारत में दिल्ली और उत्तरी पंजाब और इंग्लैंड के काउंटी क्रिकेट में नॉर्थम्पटनशायर सहित विभिन्न टीमों के लिए खेलते हुए 1,560 विकेट हासिल किए.
बेदी ने भारत को वेस्टइंडीज और ऑस्ट्रेलिया सहित छह टेस्ट मैचों में जीत दिलाई. सन् 1975 के पहले विश्व कप में पूर्वी अफ्रीका के खिलाफ उन्होंने 12 ओवरों में आठ मेडन डाले और मात्र छह रन देकर एक विकेट हासिल किया. यह 60 ओवर के एकदिवसीय मैचों में सबसे किफायती स्पेल था.