वेलिंगटन : न्यूजीलैंड में जन्में हरफनमौला बेन स्टोक्स ने कहा कि पिता की बीमारी की जानकारी मिलने पर पाकिस्तान के खिलाफ टेस्ट सीरीज के दौरान इंग्लैंड की टीम को छोड़ने के अलावा उनके पास कोई विकल्प नहीं था.
इंग्लैंड के हरफनमौला बेन स्टोक्स वह क्राइस्टचर्च में दो हफ्ते आइसोलेशन में बिता चुके हैं जिसके बाद उन्होंने एक समाचार एजेंसी से कहा, ''मैं एक हफ्ते तक सो नहीं सका और मेरे दिमाग में सिर्फ यही बात चल रही थी.'' उन्होंने कहा, ''मानसिक रूप, मेरे लिए टीम को छोड़ना ही सही विकल्प था.'' गेराल्ड स्टोक्स (64) को जनवरी में 'ब्रेन कैंसर' का पता चला था.
इससे पहले ईसीबी ने एक बयान में कहा था, ''स्टोक्स इस हफ्ते के अंत में न्यूजीलैंड जाएंगे. वो पाकिस्तान के खिलाफ 13 अगस्त गुरूवार और 21 अगस्त शुक्रवार से एजिस बाउल में शुरू होने वाले इंग्लैंड के दो टेस्ट मैचों में नहीं खेल पाएंगे.''
बयान के मुताबिक, ''इंग्लैंड एवं वेल्स क्रिकेट बोर्ड स्टोक्स के परिवार के साथ सभी मीडिया से अनुरोध करता है कि वे इस समय परिवार की निजता का सम्मान करें.'' क्राइस्टचर्च में जन्में 29 वर्षीय स्टोक्स इंग्लैंड की टीम के अहम सदस्य हैं और उन्होंने हाल के वर्षों में कई शानदार प्रदर्शन से टीम को जीत दिलाई है जिसमें 2019 विश्व कप का फाइनल और एशेज हंड्रेड शामिल हैं. मेजबान इंग्लैंड ने शुरूआती टेस्ट तीन विकेट से जीतकर तीन मैचों की सीरीज में 1-0 से बढ़त हासिल कर ली है.
इंग्लैंड के हरफनमौला बेन स्टोक्स वहीं पाकिस्तान ने कोविड-19 के बीच इंग्लैंड दौरे पर तीन मैचों की टेस्ट सीरीज और इतने ही मैचों की टी20 सीरीज खेलने का फैसला किया. टेस्ट सीरीज में पाकिस्तान की टीम को 1-0 से हार का सामना करना पड़ा. इंग्लैंड ने पहला मैच अपने नाम किया था, जबकि दूसरा और तीसरा टेस्ट मैच ड्रॉ रहा.