नई दिल्ली: पूर्व भारतीय तेज गेंदबाज अजीत अगरकर शुक्रवार को राष्ट्रीय चयनकर्ता बनने की दौड़ में शामिल हो गए और वे चयनसमिति के अध्यक्ष भी बन सकते हैं.
मुंबई की सीनियर चयनसमिति के पूर्व अध्यक्ष अगरकर राष्ट्रीय चयनसमिति का अध्यक्ष बनने की दौड़ में शामिल हैं क्योंकि नए संविधान में क्षेत्रीय प्रणाली का प्रावधान नहीं है.
बीसीसीआई ने आवेदन भेजने की अंतिम तिथि 24 जनवरी तय की थी और ऐसे में अगरकर सबसे बड़ा नाम उभर कर सामने आया है जिन्होंने 26 टेस्ट, 191 वनडे और तीन टी20 अंतरराष्ट्रीय में कुल मिलाकर 349 विकेट लिए हैं. वनडे में उनके नाम पर 288 विकेट दर्ज हैं.
बीसीसीआई के एक अधिकारी ने कहा, "अजीत का दौड़ में शामिल होना रोचक है. उन्होंने काफी सोच समझकर आवेदन किया होगा. अगर किसी को लगता है कि शिवा (लक्ष्मण शिवरामकृष्णन) का चयनसमिति का अध्यक्ष तय है तो उन्हें इस पर फिर से विचार करना होगा. ये देखना दिलचस्प होगा कि किन्हें चयनकर्ता चुना जाता है."
राष्ट्रीय चयनकर्ता बनने की दौड़ में शामिल लोग अगरकर के अलावा जिन पूर्व क्रिकेटर्स ने चयनकर्ता पद के लिए आवेदन किया है उनमें हरियाणा के चेतन शर्मा, बड़ौदा के नयन मोंगिंया, तमिलनाडु के शिवरामकृष्णन, मध्य प्रदेश के राजेश चौहान और अमय खुरासिया, उत्तर प्रदेश के ज्ञानेंद्र पांडे (योग्य नहीं क्योंकि जूनियर चयनकर्ता के रूप में चार साल पूरे कर चुके हैं) और विदर्भ के प्रीतम गंधे (जूनियर राष्ट्रीय चयनकर्ता रह चुके हैं।) शामिल हैं.
आपको बता दें कि अगरकर के आवेदन देने से पहले भारतीय टीम के पूर्व स्पिनर लक्ष्मण शिवरामकृष्णन का नाम इस दौड़ में सबसे आगे था. उन्होंने भारत के लिए नौ टेस्ट और 16 वनडे खेले हैं. वे 1983 से 1987 के बीच टीम इंडिया का हिस्सा रह चुके हैं. फिलहाल वे कमेंट्री कर रहे हैं और नेशनल क्रिकेट एकेडमी में स्पिन बॉलिंग कोच की भूमिका भी निभा चुके हैं.