वाराणसी :प्रसिद्ध गायिका भारत रत्न लता मंगेशकर की अस्थियों को उनके परिवार के सदस्यों ने वाराणसी में गंगा नदी में विसर्जित कर दिया है. उन्होंने 6 फरवरी को मुंबई के एक अस्पताल में अंतिम सांस ली थी. लता मंगेशकर की बहन उषा मंगेशकर परिवार के अन्य सदस्यों के साथ अस्थि कलश लेकर वाराणसी पहुंचीं. उन्होंने खिडकिया घाट पर एक नाव ली, जहां से वे अहिल्याबाई घाट गए. इस घाट पर पुजारी श्रीकांत पाठक के मार्गदर्शन में वैदिक अनुष्ठान करने के बाद अस्थियों को गंगा के बीच में विसर्जित कर दिया गया.
बता दें, इससे पहले 10 फरवरी को स्वर कोकिला लता मंगेशकर की अस्थियां नासिक में गोदावरी नदी रामकुंड में विसर्जित की गई थी. लता मंगेशकर के भाई ह्दयनाथ के बेटे आदिनाथ, छोटी बहन उषा मंगेशकर समेत मंगेशकर परिवार के कई लोग यहां मौजूद थे.
अनुष्ठान विधि के अनुसार कलश पूजन कर अस्थियां को विसर्जित किया गया था. वेदमूर्ति शांताराम शास्त्री भानोसे और गंगा गोदावरी पंचकोठी पुरोहित संघ के अध्यक्ष सतीश शुक्ल के मार्गदर्शन में सभी धार्मिक संस्कार संपन्न हुए थे.
इस दौरान लता जी की बहन उषाताई मंगेशकर, बैजनाथ, राधा, कृष्ण आदिनाथ मंगेशकर, मयूरेश पाई, मीनाताई के पति योगेश खादीकर और जिला कलेक्टर सूरज मंधारे, नगर आयुक्त कैलाश जाधव मौजूद थे. रामकुंड क्षेत्र में विसर्जन के लिए नासिक संगीत प्रेमी भी जुटे थे.