दुबई : विदेश मंत्री एस जयशंकर ने शनिवार को कहा कि भारत ने न केवल देश में प्रगति करने की क्षमता दिखाई है, बल्कि जी20 की अपनी अध्यक्षता के दौरान भी यह प्रदर्शित किया कि वह बहुत कठिन समय में भी दुनिया को साझा हित के विषय पर सहमत करने का सामर्थ्य रखता है. जयशंकर ने यह बात दुबई में भारतीय छात्रों और युवा पेशेवरों के साथ बातचीत के दौरान कही. उन्होंने भारत में परिवर्तन और देश एवं विदेश में भारतीयों के रोजमर्रा के जीवन पर इसके प्रभाव पर दृष्टिकोण साझा किया.
जयशंकर ने कहा कि अमृतकाल में छात्र और युवा पेशेवर विकसित भारत के निर्माण में सबसे आगे होंगे. भारत की प्रगति के बारे में बात करते हुए जयशंकर ने कहा कि भारत ने जी20 की अध्यक्षता का कार्यकाल हाल में पूरा किया है. मंत्री ने कहा, 'इस अध्यक्षता के दौरान, भू-राजनीति के कारण, यूक्रेन संबंधी पूरे विवाद के कारण, इसे लेकर बहुत चिंता थी कि क्या हम सभी को एकसाथ ला सकेंगे.' उन्होंने कहा कि यह भी चिंता थी कि विशेषकर विकासशील दुनिया के देशों की मदद करने वाला जी20 का वास्तविक एजेंडा भटक सकता है.
जयशंकर ने कहा, 'इसलिए, हमने न केवल देश में प्रगति करने की क्षमता दिखायी है, बल्कि हमने यह भी दिखाया है कि भारत बहुत कठिन और असहमति के समय में भी दुनिया को साझा हित के किसी विषय पर सहमत करने का सामर्थ्य रखता है. और यह भी कुछ ऐसा है जो भारत के बारे में बहुत कुछ कहता है.' भारत ने 9 और 10 सितंबर को नई दिल्ली में जी20 नेताओं के शिखर सम्मेलन के लिए मेजबानी की थी, जिसमें अमेरिका के राष्ट्रपति जो बाइडेन, फ्रांस के राष्ट्रपति इमैनुएल मैक्रों, सऊदी अरब के क्राउन प्रिंस मोहम्मद बिन सलमान, ब्रिटेन के प्रधानमंत्री ऋषि सुनक, ब्राजील के राष्ट्रपति लुइज इनासियो लूला दा सिल्वा और रूसी विदेश मंत्री सर्गेई लावरोव शामिल हुए थे.