संयुक्त राष्ट्र: भारतीय वन्यजीवी वैज्ञानिक डॉ. पूर्णिमा देवी बर्मन को संयुक्त राष्ट्र के सर्वोच्च पर्यावरण पुरस्कार 'चैंपियंस ऑफ द अर्थ' से सम्मानित किया गया है. बर्मन को पारिस्थितिक तंत्र के क्षरण की रोकथाम के लिए की गई परिवर्तनकारी कार्रवाई के लिए यह सम्मान दिया गया है. बर्मन को संयुक्त राष्ट्र पर्यावरण कार्यक्रम (यूएनईपी) के इस साल के 'चैंपियंस ऑफ द अर्थ' पुरस्कार की 'एंटरप्रेन्योरियल विजन' (उद्यमिता दृष्टिकोण) श्रेणी में सम्मानित किया गया है.
वन्यजीव विज्ञानी बर्मन 'हरगिला आर्मी' का नेतृत्व करती हैं, जो सारस को विलुप्त होने से बचाने के लिए समर्पित आंदोलन है, जिसमें केवल महिलाएं शामिल हैं. महिलाएं सारस पक्षी जैसे मुखौटे बनाती हैं और बेचती हैं, जिससे अपनी वित्तीय स्वतंत्रता के साथ ही विलुप्त होती प्रजाति के बारे में जागरूकता बढ़ाने में मदद मिलती है.