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अब्दुल रऊफ अजहर को वैश्विक आतंकवादी घोषित करने के प्रस्ताव को चीन ने किया बाधित

जैश-ए-मोहम्मद के सरगना मसूद अजहर के भाई एवं पाकिस्तान स्थित आतंकवादी संगठन के दूसरे नंबर के ओहदेदार अब्दुल रऊफ अजहर को काली सूची में डालने के प्रस्ताव पर चीन ने एक बार फिर से बाधा डाली है. ये प्रस्ताव संयुक्त राष्ट्र और भारत ने लाया है, जिस पर पिछले दो महीने से भी कम समय में चीन ने दूसरी बार बाधा डाली है.

अब्दुल रऊफ अजहर
अब्दुल रऊफ अजहर

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Published : Aug 11, 2022, 2:57 PM IST

Updated : Aug 11, 2022, 3:54 PM IST

संयुक्त राष्ट्र :चीन ने संयुक्त राष्ट्र में जैश-ए-मोहम्मद के सरगना मसूद अजहर के भाई एवं पाकिस्तान स्थित आतंकवादी संगठन के दूसरे नंबर के ओहदेदार अब्दुल रऊफ अजहर को काली सूची में डालने के अमेरिका और भारत के प्रस्ताव को एक बार फिर बाधित किया. चीन ने दो महीने से भी कम समय में दूसरी बार ऐसा कदम उठाया है. संयुक्त राष्ट्र में भारत की स्थायी प्रतिनिधि रुचिरा कंबोज ने चीन की अध्यक्षता में सुरक्षा परिषद की बैठक में कहा कि बिना कोई उचित कारण दिए आतंकवादियों को काली सूची में डालने के अनुरोध पर रोक लगाना रुकना चाहिए. उन्होंने कहा कि किसी को प्रतिबंधित करने की कार्रवाई की विश्वसनीयता अभी तक के सबसे निचले स्तर पर है.

गौरतलब है कि पाकिस्तान में 1974 में जन्मे अब्दुल रऊफ अजहर पर दिसंबर 2010 में अमेरिका ने प्रतिबंध लगाए थे. वह 1999 में 'इंडियन एयरलाइंस' के विमान 'आईसी-814' को अगवा करने की वारदात का मुख्य साजिशकर्ता था, जिसके एवज़ में उसके भाई मसूद अजहर को जेल से रिहा कराया गया था. सूत्रों ने बुधवार को बताया कि अमेरिका और भारत द्वारा अब्दुल रऊफ अजहर को वैश्विक आतंकवादियों की सूची में डालने व उसकी संपत्ति जब्त करने, यात्रा प्रतिबंध लगाने संबंधी रखे गए प्रस्ताव को सुरक्षा परिषद के स्थायी सदस्य चीन तथा उसके सहयोगी पाकिस्तान ने बाधित किया. यह दो महीने से भी कम समय में दूसरा मौका है, जब चीन ने संयुक्त राष्ट्र सुरक्षा परिषद की प्रतिबंध समिति के तहत पाकिस्तान स्थित एक आतंकवादी को काली सूची में डालने के अमेरिका और भारत के प्रस्ताव को बाधित किया है.

चीन ने इससे पहले पाकिस्तानी आतंकवादी अब्दुल रहमान मक्की को संयुक्त राष्ट्र सुरक्षा परिषद (UNSC) की प्रतिबंधित सूची में शामिल करने के भारत तथा अमेरिका के संयुक्त प्रस्ताव को आखिरी क्षण में बाधित कर दिया था. मक्की लश्कर-ए-तैयबा के सरगना एवं 26/11 मुंबई हमलों के मुख्य साजिशकर्ता हाफिज सईद का रिश्तेदार है. भारत और अमेरिका ने संयुक्त राष्ट्र सुरक्षा परिषद की और अल कायदा प्रतिबंध समिति के तहत मक्की को वैश्विक आतंकवादी घोषित किए जाने के लिए एक संयुक्त प्रस्ताव पेश किया था, लेकिन चीन ने इस प्रस्ताव को अंतिम क्षण में बाधित कर दिया.

अमेरिका के वित्त मंत्रालय ने दिसंबर 2010 में "जैश-ए-मोहम्मद के खूंखार आतंकवादियों में से एक अब्दुल रऊफ अजहर को जैश व उसकी ओर से काम करने के लिए" आतंकवादी घोषित कर दिया था. पाकिस्तान के मित्र देश चीन ने भारत और उसके सहयोगियों द्वारा पाकिस्तानी आतंकवादियों को सूचीबद्ध करने के प्रयासों को इससे पहले भी कई बार बाधित किया है. भारत ने मई 2019 में संयुक्त राष्ट्र में एक बड़ी राजनयिक जीत हासिल की थी, जब वैश्विक निकाय ने पाकिस्तान स्थित जैश-ए-मोहम्मद के प्रमुख मसूद अजहर को वैश्विक आतंकवादी घोषित कर दिया था. ऐसा करने में भारत को करीब एक दशक का समय लग गया था.

संयुक्त राष्ट्र सुरक्षा परिषद के 15 सदस्यीय निकाय में चीन एक मात्र ऐसा देश था, जिसने अजहर को काली सूची में डालने के प्रयासों को बाधित करने की कोशिश की थी. संयुक्त राष्ट्र सुरक्षा परिषद में पांच राष्ट्र - अमेरिका, ब्रिटेन, चीन, फ्रांस और रूस - स्थायी सदस्य हैं. इनके पास 'वीटो' का अधिकार है यानी यदि उनमें से किसी एक ने भी परिषद के किसी प्रस्ताव के विरोध में वोट डाला तो वह प्रस्ताव पास नहीं होता.

(पीटीआई-भाषा)

Last Updated : Aug 11, 2022, 3:54 PM IST

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