लंदन : ब्रिटेन में करीब एक सदी में सर्दियों के मौसम दिसंबर में हो रहे देश के पहले आमचुनाव में मतदान केंद्रों पर मतदाताओं का तांता लगा रहा. समय से पहले कराया जा रहा यह चुनाव यूरोपीय संघ से ब्रिटेन के अलग होने (ब्रेक्जिट) के भविष्य को तय करेगा.
ब्रिटिश प्रधानमंत्री बोरिस जॉनसन और विपक्षी नेता जेरेमी कोर्बिन उन लोगों में शामिल थे जिन्होंने लंदन में सुबह-सुबह वोट डाला.
इस चुनाव के जरिए मतदाता ईयू से बाहर होने के कंजरवेटिव पार्टी के वादे तथा 28 सदस्यीय आर्थिक संगठन के साथ देश के भविष्य के संबंध पर एक और जनमत संग्रह के बीच में से किसी एक विकल्प को चुनेंगे.
समूचे ब्रिटेन (इंग्लैंड, वेल्स, स्कॉटलैंड और उत्तरी आयरलैंड) में मतदान केंद्र सुबह-सुबह खुल गए जहां कुल 3322 उम्मीदवारों ने हाउस ऑफ कॉमंस की 650 सीटों के लिए अपनी चुनावी किस्मत आजमाई.
समय से पहले आम चुनाव कराने की जॉनसन की यह कोशिश अपनी कंजरवेटिव पार्टी के लिए बहुमत हासिल करने और संसद के रास्ते ब्रेक्जिट करार को अंजाम तक पहुंचाने के लिए है.
ब्रिटेन को ईयू से अलग होना है लेकिन इसकी शर्तों पर संसदीय सर्वसम्मति नहीं बन पाई और यह बार-बार समय सीमा के अंदर इस लक्ष्य को हासिल करने में नाकाम रहा. आखिरी समय सीमा 31 अक्टूबर की थी.
जॉनसन ने 31 जनवरी 2020 की नई सीमा के साथ इस चुनाव को पार्टी के 'गेट ब्रेक्जिट डन' (ब्रेक्जिट पूरा कर लो) के संदेश के साथ ब्रेक्जिट चुनाव का रूप दे दिया है, वहीं विपक्षी लेबर