लंदन: वेस्टमिंस्टर मजिस्ट्रेट कोर्ट ने नीरव मोदी की जमानत याचिका खारिज कर दी है. भगोड़ा हीरा कारोबारी नीरव मोदी लंदन पुलिस की गिरफ्त में रहेंगे. कोर्ट में अगली सुनवाई 26 अप्रैल को होगी. अगली सुनवाई में नीरव को वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग के माध्यम से पेश किया जाएगा.
मीडिया रिपोर्ट्स के मुताबिक जैसे हीवेस्टमिंस्टर मजिस्ट्रेट कोर्ट ने नीरव मोदी की याचिका खारिज की भारतीय जांच एजेंसी के अधिकारियों को काफी खुश देखा गया.
नीरव मोदी के वकील ने कहा कि उन्हें एक स्पेशल फोन दिया जाना चाहिए, जो अधिकारियों की निगरानी में हो.
नीरव मोदी के वकील ने जमानत की शर्तों का जिक्र करते हुए नजरबंद किए जाने और इलेक्ट्रॉनिक मॉनिटरिंग जैसे विकल्प सुझाए.
भारतीय प्राधिकरण का पक्ष रख रहे क्राउन प्रोसेक्यूशन सर्विस ने पहली सुनवाई के दौरान कहा था कि नीरव मोदी करीब दो अरब डॉलर के मनी लॉड्रिंग एवं धोखाधड़ी के मामले में वांछित है.
वकील ने इन विकल्पों को सामान्य से ज्यादा सख्त करार दिया. इसमें पूरे दिन इलेक्ट्रॉनिक टैग मॉनिटरिंग समेत नजदीकी पुलिस स्टेशन में हाजिरी लगाने जैसी शर्तें शामिल हैं.
भारतीय प्राधिकरण की तरफ से पेश हुए क्राउन प्रॉसेक्यूशन सर्विस के टॉबी कैडमैन ने लंदन की कोर्ट को बताया कि नीरव मोदी ने एक गवाह 'आशीष लाड' को बुलाकर, उसे जान से मारने की धमकी दी थी.
भारतीय अधिकारियों का प्रतिनिधित्व कर रहे वकील टॉबीकैडमैन ने बताया कि अगर नीरव मोदी को जमानत मिली, तब वे हाईकोर्ट में अपील करेंगे.
टॉबी क्राउन प्रॉजीक्यूशन के प्रतिनिधि हैं. उन्होंने कहा कि वे नीरव मोदी को गिरफ्त में रखने की पूरी कोशिश करेंगे.
बता दें कि नीरव मोदी को 19 मार्च को लंदन में गिरफ्तार किया गया था. जमानत याचिका रद्द होने पर वेस्टमिंस्टर कोर्ट ने नीरव मोदी को हिरासत में भेजा था.