मनीला : फिलीपींस के राष्ट्रपति रोड्रिगो दुतेर्ते (Rodrigo Duterte) के प्रशासन ने देर से ही सही लेकिन शांति के लिए नोबेल पुरस्कार जीतने वाली पत्रकार मारिया रेसा (Maria Ressa) को सोमवार बधाई दे दी. रेसा को रूस के दिमित्री मुरातोव (Dmitry Muratov) के साथ शांति के लिए नोबेल पुरस्कार के लिए चुना गया है. उन्हें यह पुरस्कार गंभीर खतरों के बावजूद अभिव्यक्ति की स्वतंत्रता के लिए उनकी लड़ाई के लिए दिया गया है.
बहरहाल, प्रशासन ने इस आलोचना को खारिज किया है कि रेसा को यह पुरस्कार मिलना दुतेर्ते के नेतृत्व के लिए तमाचा है. हालांकि रेसा राष्ट्रपति के नेतृत्व की आलोचक रही हैं.
राष्ट्रपति के प्रवक्ता हैरी रॉक ने कहा कि रेसा झूठ के सहारे बदनाम करने के लिए दोषी ठहराई जा चुकी हैं और अन्य आपराधिक आरोपों का सामना कर रही हैं, जिनके बारे में अदालतें स्वतंत्र रूप से फैसला करेंगी. उन्होंने कहा कि फिलीपींस में पत्रकारों की आवाज को नहीं दबाया जाता है.
रेसा को शुक्रवार को शांति के नोबेल पुरस्कार के लिए चुना गया था जिसके बाद पहली बार दुतेर्ते के प्रशासन ने सार्वजनिक तौर पर टिप्पणी की है. 'रैपलर' समाचार वेबसाइट की सह-संस्थापक 58 वर्षीय रेसा को दुतेर्ते की मादक पदार्थों के खिलाफ खूनी कार्रवाई की खोजी रिपोर्टताज के लिए जाना जाता है.
रॉक ने प्रेस वार्ता के दौरान एक पत्रकार के सवाल के जवाब में कहा, 'कोई तमाचा नहीं है… क्योंकि हर कोई जानता है कि फिलीपींस में कभी किसी पर सेंसरशिप नहीं रही है.'
रॉक ने फिलिपिनो राष्ट्रीय कलाकार पुरस्कार से सम्मानित फ्रांसिस्को सियोनिल जोस के बयान का हवाला देने की कोशिश की. जोस ने एक बयान में कहा था कि रेसा नोबेल शांति पुरस्कार की हकदार नहीं हैं और फिलीपींस में प्रेस क्रियाशील है और देश में कोई लेखक न जेल में हैं और न कोई सेंसरशिप है.
जोस ने कहा कि दुतेर्ते ने कोई अखबार या रेडियो स्टेशन बंद नहीं किया है. लेकिन इसके साथ ही उन्होंने यह भी कहा कि दुतेर्ते ने कांग्रेस पर दबाव डाला और कांग्रेस ने प्रमुख टीवी नेटवर्क एबीएस-सीबीएन के लाइसेंस का नवीनकरण नहीं किया. इससे पिछले साल वह बंद हो गया लेकिन यह प्रेस की आज़ादी का मुद्दा नहीं है.