इस्लामाबाद: प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के लोकसभा चुनाव में जीत हासिल करने के बाद पाकिस्तान मीडिया में मिली जुली प्रतिक्रिया देखने को मिली. पाक मीडिया के एक वर्ग ने इसे राष्ट्रीय सुरक्षा के आधार पर मिला प्रचंड जनादेश करार दिया है. वहीं, अन्य वर्ग ने इसे दक्षिणपंथियों की जीत के वैश्विक चलन का परिणाम बताया है.
यह आश्चर्यजनक रहा कि मीडिया में मोदी विरोधी लहर गायब रही क्योंकि अधिकतर मीडिया संस्थानों के लिए यह चुनाव का अप्रत्याशित परिणाम नहीं था. चुनाव का गहराई से विश्लेषण भी नहीं किया गया और लगभग सभी समाचार पत्र एवं अन्य मीडिया संस्थान भारत में समर्पित रिपोर्टिंग टीम की अनुपस्थिति में समाचार एजेंसियों पर निर्भर रहे.
समाचार पत्र 'डॉन' ने अपने मुख्यपृष्ठ में लिखा कि मोदी ने आम चुनाव में राष्ट्रीय सुरक्षा के आधार पर प्रचंड बहुमत प्राप्त किया. समाचार पत्र ने कहा, 'सीमा पार बालाकोट में हवाई हमले के रणनीतिकार के रूप में स्वयं को पेश करके मोदी ने विपक्ष को बुरी तरह पछाड़ दिया.'
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'डॉन' ने मोदी की सफलता को साम्प्रदायिक राजनीति की जीत करार दिया. उन्होंने कहा, 'विश्व के सबसे बड़े लोकतंत्र की दीवार पर लिखा है, भारत में साम्प्रदायिक राजनीति ऐसे समय में जीती है जो गणराज्य का भविष्य तय करेगी.'