इस्लामाबाद :पाकिस्तान के एक वरिष्ठ मंत्री ने शुक्रवार को दावा किया कि वित्तीय कार्रवाई कार्यबल (एफएटीएफ) द्वारा पाकिस्तान को काली सूची में डाले जाने की कोई संभावना नहीं है, क्योंकि इसने संबंधित मुद्दों पर महत्वपूर्ण प्रगति की है.
आतंकी गतिविधियों को वित्तीय मदद को लेकर पाकिस्तान को एफएटीएफ द्वारा ग्रे सूची में बरकरार रखे जाने के एक दिन बाद उद्योग मंत्री हम्माद अजहर का यह बयान आया है.
पाकिस्तान को ग्रे सूची में बरकरार रखते हुए एफएटीएफ ने कहा है कि आतंकी गतिविधियों को मिल रही वित्तीय मदद को रोकने में देश के प्रयासों में गंभीर खामियां हैं.
पेरिस स्थित वैश्विक धनशोधन एवं आतंकी वित्तपोषण रोधी संगठन एफएटीएफ ने पाकिस्तान को जून तक अपनी ग्रे सूची में बरकरार रखने का फैसला किया है.
अजहर ने कहा कि पाकिस्तान ने अपने को चुनौतीपूर्ण समयसीमा मिलने के बावजूद लक्ष्यों को हासिल किया है और संबंधित कार्यों की दिशा में महत्वपूर्ण प्रगति की है, इसलिए एफएटीएफ द्वारा देश को काली सूची में डाले जाने की कोई संभावना नहीं है.
उन्होंने दावा किया कि एफएटीएफ की 27 सूत्री कार्ययोजना को पूरा करने के पाकिस्तान के प्रयासों की दुनिया ने 'तारीफ' की है.
उल्लेखनीय है कि एफएटीएफ ने गुरुवार को कहा था कि पाकिस्तान बढ़ी हुई निगरानी सूची में बना रहेगा क्योंकि उसके द्वारा आतंकवाद का वित्तपोषण रोकने में 'गंभीर खामियां' हैं और देश में इससे निपटने के लिए प्रभावी व्यवस्था की कमी है.
एफएटीएफ के अध्यक्ष मार्कस प्लेयर ने कहा कि पाकिस्तान को दी गई समयसीमा पहले ही समाप्त हो गई है और इस्लामाबाद को एफएटीएफ की चिंताओं को 'जितनी जल्दी हो सके', दूर करना चाहिए.
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प्लेयर ने पेरिस में एफएटीएफ के पूर्ण सत्र के समापन के बाद कहा, अभी तक, पाकिस्तान ने सभी कार्रवाई योजनाओं में प्रगति की है और अब तक 27 में से 24 कार्रवाई पूरी कर ली हैं. पूरी कार्रवाई योजना के लिए समयसीमा पूरी हो चुकी है.
उन्होंने कहा कि आतंक के वित्तपोषण पर रोक लगाने में पाकिस्तान की ओर से गंभीर खामियां हैं और संयुक्त राष्ट्र द्वारा सूचीबद्ध आतंकवादियों तथा उनके सहयोगियों के खिलाफ कार्रवाई करना अभी बाकी है.
प्लेयर ने कहा कि पाकिस्तान की अदालतों को आतंकवाद में शामिल लोगों को प्रभावी और निर्णायक सजा देनी चाहिए.
उन्होंने कहा कि पाकिस्तान को तीन अधूरे कार्यों को पूरा करना होगा और एक बार यह पूरा हो जाने के बाद, एफएटीएफ जून में होने वाले अपने पूर्ण सत्र में उसके वर्तमान दर्जे पर निर्णय करेगा.