मुंबई :वर्ल्डवाइड म्यूजिक इंडस्ट्री के सबसे बड़े अवार्ड समारोह ग्रैमी अवार्ड्स (Grammy Awards 2023) का ऐलान हो चुका है. ग्रैमी अवार्ड्स को म्यूजिक की दुनिया का नोबल प्राइज भी कहा जाता है. इसका आयोजन अमेरिका के लॉस एंजिलेस में 5 फरवरी को आयोजित हुआ और कई हस्तियों को इस अवार्ड से नवाजा गया. भारत में इसे 6 फरवरी की 6.30 बजे से देखा गया. इस बार भारत की झोली में तीसरा अवार्ड आया है. म्यूजिक की दुनिया में तीन वार्षिक पुरस्कार आयोजित होते हैं, जिसमें 'अमेरिकन म्यूजिक अवार्ड्स', 'ग्रैमी अवार्ड' और 'बिलबोर्ड म्यूजिक अवार्ड्स' शामिल हैं. जानेंगे, ग्रैमी अवार्ड्स के बारे में और भारत के लिए अभी तक कितने ग्रैमी इकट्ठे हो चुके हैं, इस पर भी एक नजर डालेंगे.
कब शुरू हुआ ग्रैमी अवॉर्ड्स?
आसान भाषा में समझे तो ग्रैमी अवार्डस् की शुरुआत 4 मई 1959 को अमेरिका में हुई. 1959 में आयोजित हुए पहले म्यूजिक अवार्ड्स शो में साल 1958 के ग्रैमी विजेताओं के नाम का ऐलान किया गया था. ग्रैमी अवार्ड्स हर साल संयुक्त राज्य अमेरिका के नेशनल एकेडमी ऑफ रिकॉर्डिंग आर्ट्स एंड साइंसेज के जरिए दिया जाता है.
ग्रैमी अवॉर्ड की ट्रॉफी के बारे में जानें
ग्रैमी अवार्ड्स ट्रॉफी कई मायनों में खास है. म्यूजिक की दुनिया में हर कलाकार की नजर इस पर रहती है, लेकिन म्यूजिक से प्यार करने वाले लोगों को शायद ही यह बात पता हो कि इसे जॉन बिलिंग (ग्रैमी मेकर) के हाथ से तैयार किया जाता है. इसको खास तरीके से डिजाइन किया गया है. इस ट्रॉफी को ग्रैमियम नामक धातु से बनाया जाता है. इसमें धातु जस्ता (जिंक) मिलाकर बनाया जाता है, फिर फाइनली ऊपर सोन की लेयर से इसे सजाया जाता है. ग्रैमी अवार्ड को 'ग्रामोफोन अवार्ड' भी कहा जाता है.
ट्रॉफी की कीमत ?
बता दें, सेरेमनी में स्टंट ट्रॉफी को इस्तेमाल में लाया जाता है. वहीं, समारोह खत्म होने के बाद ओरिजिनल यानि स्पेशल ट्रॉफी को विजेता के पास भेजा जाता है. हार्पर बाजार मैगजिन के अनुसार, इस ट्रॉफी की कीमत 30 हजार डॉलर है, लेकिन साल दर साल इसकी कीमत में फेरबदल होता रहता है.
भारत की झोली में कितने ग्रैमी अवॉर्ड?
भारत के संदर्भ में बात करें तो इसे पहली बार दिवंगत महान सितार वादक रविशंकर ने अपने नाम किया था. ग्रैमी अवार्ड्स की शुरुआत के 10 साल बाद यानि 1968 में भारत की झोली में पहला ग्रैमी अवार्ड गिरा था.