नई दिल्ली/नोएडा:नोएडा डिपो के यात्रियों को आरामदायक और सुरक्षित सफर कराने के दावे हवा-हवाई साबित हो रहे हैं. रोडवेज की बसें सड़कों पर मौत बनकर दौड़ रही हैं. यूपी रोडवेज के नोएडा डिपो की तकरीबन दो दर्जन से ज्यादा बसों की फिटनेस चेकिंग नहीं हुई. उसके बावजूद वे यात्रियों को लेकर गंतव्य के लिए हर रोज रवाना होती हैं. ऐसे में सवाल उठता है कि मुसाफिरों को जोखिम में क्यों डाला जा रहा है? अगर कोई हादसा होता है तो आखिर उसकी जिम्मेदारी किसकी होगी?
दो दर्जन से ज्यादा बसें अनफिट
एआरटीओ (प्रशासन) एके पांडे ने ईटीवी भारत की खबर की पुष्टि करते हुए बताया कि तकरीबन दो दर्जन से ज्यादा बसे हैं जो अनफिट हैं. एआरटीओ विभाग की तरफ से पत्राचार किया गया है. साथ ही अनफिट बसों की फिटनेस कराने के लिए रोडवेज के अधिकारियों को कहा गया है. अधिकारियों ने यह भी स्पष्ट कर दिया है कि अगर सड़कों पर बिना फिटनेस की बसें और दौड़ती हुई दिखाई देती हैं तो परिवर्तन दस्ता लगातार कार्रवाई कर रहा है और ऐसे में बख्शा नहीं जाएगा. मिली जानकारी के मुताबिक, तकरीबन 3 एआरटीओ प्रवर्तन दस्ता रोजाना चैटिंग कर रहा है.
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