नई दिल्ली/नोएडा:ग्रेटर नोएडा के दादरी थाना क्षेत्र में हुई हत्या के मामले में पुलिस ने 8 दिन बाद खुलासा किया कि इस हत्या के पीछे प्रेम प्रसंग और हत्या का बदला हत्या से ली गई है. इस मामले में पुलिस ने तीन आरोपियों को गिरफ्तार किया है, वहीं एक आरोपी अभी फरार है जिसकी पुलिस तलाश कर रही है. हत्या करने वाले तीन आरोपी गिरफ्तार किए गए हैं, जिसके पास से मृतक के कपड़े का बैग, मृतक की पैंट व शर्ट, आधार कार्ड, डायरी, मृतक को दिया गया जहरीला पदार्थ और खून से सना एक गर्म चादर बरामद हुआ है.
28 जनवरी की रात रूपवास चौराहे के पास रेलवे लाइन पर अज्ञात शख्स का सिर और चेहरे पर पत्थर मारकर उसकी हत्या कर रेलवे ट्रैक पर फेंक दिया गया है. इस मामले में दादरी पुलिस ने थाने के खिलाफ आईपीसी की धारा 302 दर्ज की थी. इसके बाद अज्ञात मृतक की पहचान संजीव पुत्र ओमपाल यादव जो ग्राम सराय पास्टो, थाना दातागंज, बदायू का रहने वाला था. मृतक की उम्र 28 साल थी. हत्या का खुलासा करते पुलिस ने तीन आरोपियों को गिरफ्तार किया है.
प्रेम प्रसंग और हत्या के बदले हत्या के मामले में तीन गिरफ्तार ग्रेटर नोएडा के डीसीपी अमित कुमार ने बताया कि पूछताछ में पता चला है कि आरोपी सत्यप्रकाश और कल्लू दोनों ही मृतक के गांव के रहने वाले हैं. इन सबका घर पड़ोस में है. सत्यप्रकाश और कल्लू का सगा छोटा भाई जसबीर मृतक संजीव का अच्छा दोस्त था, जिसके पास संजीव का काफी आना जाना था. इसका अवैध सम्बन्ध जसबीर के भाई ओमशरण की पत्नी से था. जिसकी जानकारी जसबीर को होने पर जसबीर ने संजीव को समझाया. 5 फरवरी को गांव सराय पस्तोर में ही संजीव व जसबीर व इनके धर्मेन्द्र व गंगा प्रसाद ने साथ-साथ शराब पी ली ती. उसी दिन जसबीर की मृत्यु हो गई, तभी से जसबीर के भाई सत्यप्रकाश व कल्लू साथ ही पिता ब्रजपाल को विश्वास था कि जसबीर को शराब मे कुछ मिलाकर संजीव ने मार दिया.
इस मामले को लेकर पुलिस में कोई शिकायत नहीं की गई और जब जसबीर का अंतिम संस्कार किया गया, तभी से इन तीनों ने संजीव उर्फ संजू को मारने की योजना बनाई. आरोपी कल्लू और सत्यप्रकाश ने इस योजना को अपने गांव के रिश्ते के मामा नरेन्द्र के बेटे मुन्ना लाल को भी बताया था.
28 फरवरी को, सत्यप्रकाश ने दादरी दावत के बहाने संजीव को तिलपता से बुलाया और अपने साथियों नरेंद्र और कल्लू की मदद से शराब में जहर मिला दिया और उसे रूपवास चौराहे के पास रेलवे लाइन पर ले गया और उस पर पत्थर से हमला कर दिया. शव को रेलवे ट्रैक पर इस इरादे से रखा गया था कि ट्रेन से कटकर मृतक की मौत साबित होगी, लेकिन ट्रेन के आने से पहले ही दादरी पुलिस को सूचना मिल गई.
शव को कब्जे में लेकर आवश्यक कार्रवाई की गई और सोशल मीडिया व दीवारों पर पोस्टर चिपका कर मृतक की शिनाख्त की गई. इसके बाद तीन आरोपियों को गिरफ्तार किया गया. एक आरोपी नरेन्द्र अभी फरार है जिसकी गिरफ्तारी के लिए पुलिस सतर्क होकर कार्रवाई कर रही है.
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