नई दिल्ली/नोएडा:कोविड-19 महामारी एक ऐसी महामारी है जो देश ही नहीं पूरी दुनिया इससे परेशान चल रही है. इस बीमारी का अभी तक देखा जाए तो पूरी दुनिया में कोई कारगर इलाज नहीं है और ना ही कोई ऐसी दवा है जिसे खिला देने से कोरोना वायरस से पॉजिटिव मरीज ठीक हो जाए या फिर लोगों को दवा दे दी जाए और खाने के बाद कोरोना वायरस ना हो.
डॉ. कमलेश गुप्ता का दावा, बनाई कोरोना की दवा वहीं इस महामारी से लोगों को बचाने का दावा नई दिल्ली नगर पालिका परिषद की डायरेक्टर आयुष डॉ. कमलेश गुप्ता का दावा है कि उन्होंने होम्योपैथिक मैं रिसर्च कर कोरोना वायरस की दवा बनाई. ईटीवी भारत से खास बातचीत में डॉ. कमलेश गुप्ता ने बताया कि उन्होंने होम्योपैथिक में रिसर्च किया और काफी लोगों के ऊपर दवा का टेस्ट किया, जिसमें यह निकल कर आया कि अगर बनाई गई दवा कोरोना पॉजिटिव मरीज को दी जाए तो वह जल्दी ठीक हो जाएगा. वहीं रिसर्च में उन्होंने एक दवा ऐसी बनाई है जिसे खाने से कोरोना वायरस नहीं होने की पूरी संभावना है. अभी तक उनके रिसर्च को सरकारी मान्यता नहीं मिल पाई है, जिसके चलते आम जनता को उनकी दवा नहीं मिल पा रही है.
कोरोना वायरस की दवा आई होम्योपैथिक में
एनडीएमसी में डायरेक्टर आयुष डॉक्टर कमलेश गुप्ता का कहना है कि उन्होंने कोरोना वायरस बीमारी को दूर करने के लिए होम्योपैथिक में रिसर्च कर दवा बनाई है, जिसे देने के बाद मरीज 5 से 6 दिनों में ठीक हो जाएगा, जो काफी कारगर साबित है. वहीं उन्होंने बताया कि रिसर्च में होम्योपैथिक में एक और दवा बनाई गई है, जिसे खाने से कोरोना वायरस का इफेक्ट कम होगा और कोरोना वायरस से बचा जा सकता है.
कोरोना वायरस की दवा का रिसर्च
डॉक्टर कमलेश गुप्ता द्वारा कोरोना वायरस दवा का रिसर्च करीब सवा सौ से ज्यादा कोरोना पॉजिटिव मरीजों पर टेस्ट किया गया. वहीं पॉजिटिव लोगों के संपर्क में रहने वाले करीब 3 दर्जन लोगों पर भी टेस्ट किया गया, जो काफी कारगर साबित हुआ. उनका कहना है कि सवा सौ मरीजों पर की गई रिसर्च में निकला की. वह समय से पूर्व ठीक हो गए, वहीं उनके संपर्क में रहने वालों पर किए गए रिसर्च में सभी सुरक्षित हैं और कोई कोरोना पॉजिटिव नहीं हुआ. अभी तक जिन्हें कोरोना न हो इसकी दवा दी गई थी.
वहीं उन्होंने बताया कि पॉजिटिव मरीज के संपर्क में रहने वाली एक गर्भवती महिला को मेरी दवा नहीं दी गई तो वह पॉजिटिव आई. उनका का दावा है कि उनकी होम्योपैथिक में रिसर्च कर जो दवा कोरोना वायरस की बनाई गई है, वह पॉजिटिव मरीजों पर काफी कारगर साबित है. वहीं जो पॉजिटिव नहीं है और पॉजिटिव लोगों के संपर्क में आए हैं उन्हें भी अगर दूसरी रिसर्च की दवा दी जाए तो वह कोरोना पॉजिटिव नहीं होंगे.
होम्योपैथिक दवा से कम दिन में ठीक होंगे कोरोना के मरीज
डॉ. कमलेश गुप्ता का कहना है कि सरकार कोरोना वायरस में जिस दवा को कोरोना से पॉजिटिव मरीजों को दे रही है, उससे कम समय में मेरे रिसर्च कर बनाई गई होम्योपैथिक की दवा कारगर साबित है और होम्योपैथिक के दवा से 5 से 6 दिनों में लोग ठीक हो रहे हैं. जिन पर रिसर्च किया गया है. वहीं कोरोना पॉजिटिव को जहां 14 दिन क्वॉरंटाइन में रखा जा रहा है और इलाज किया जा रहा है. वहीं होम्योपैथिक दवा से लोग जल्दी ठीक हो रहे हैं. उन्होंने बताया कि उनकी रिसर्च की गई दवा को अभी सरकार से मान्यता नहीं दी गई है और रिसर्च अभी पेटेंट नहीं हुआ है.