नई दिल्ली/ग्रेटर नोएडा :ग्रेटर नोएडा के थाना रबूपुरा पुलिस ने प्रेम-प्रसंग व सम्पत्ति के लालच में की गई हत्या का खुलासा किया है. पुलिस के मुताबिक पत्नी ने प्रेमी व उसके साथियों के साथ मिलकर हत्या को अंजाम दिया और सबूत मिटाने के लिए शव को घर में जला दिया. इस मामले का खुलासा करते हुए पुलिस ने मृतक की पत्नी और उसके प्रेमियों समेत चार आरोपियों को गिरफ्तार किया है. मुख्य आरोपी मृतक की पत्नी नेहा उर्फ बासू को पुलिस ने रौनीजा पुल के पास निलौनी कट के पास से गिरफ्तार किया है. इसकी निशानदेही पर मुकेश कुमार उर्फ सोनू पुत्र और राजकुमार को भी गिरफ्तार किया गया है.
10 फरवरी को मृतक वीरपाल उर्फ पप्पन की पत्नी ने डायल 112 पर काल करके सूचना दी थी कि उसके पति को ग्राम निलौनी मिर्जापुर में घर के अन्दर किसी ने ज़िंदा जला दिया. पुलिस तत्काल मौके पर पहुंची तो वीरपाल उर्फ पप्पन का शव अधजली अवस्था में घर के प्रथम तल पर बने कमरे में मिला. घटनास्थल को सुरक्षित करते हुए फील्ड यूनिट को सूचना दी गई. फील्ड यूनिट ने घटना स्थल का निरीक्षण किया. शुक्रवार को मृतक वीरपाल उर्फ पप्पन के भाई की तहरीर पर थाना रबूपुरा में धारा 302 आईपीसी पंजीकृत किया गया था.
ग्रेटर नोएडा के डीसीपी अमित कुमार ने बताया कि पूछताछ पर अभियुक्त नेहा उर्फ बासू ने बताया कि उसका विवाह 2008 में वीरपाल उर्फ पप्पन के साथ हुआ था. मृतक वीरपाल उर्फ पप्पन से अभियुक्त नेहा उर्फ बासू को तीन सन्तान एक लड़का व दो बेटियां पैदा हुईं. शादी के बाद नेहा खरीदारी करने दनकौर के बाजार जाया करती थी. जहां एक कपड़े की दुकान पर काम करने वाले सेल्समैन मुकेश कुमार उर्फ सोनू से उसकी जान-पहचान हो गई. वह अक्सर सोनी से मिलने लगी. धीरे-धीरे दोनों को आपस में प्यार हो गया. इस बात की जानकारी कुछ समय बाद नेहा के पति पप्पन को भी हो गई थी. समय के साथ दोनों के अवैध रिश्तों की बात पूरे गांव में फैल गई. इसके बाद इस रिश्ते को लेकर नेहा और उसके पति के बीच आए-दिन झगड़े होने लगे.
2018 में नेहा उर्फ बासू अपने पति वीरपाल उर्फ पप्पन को छोड़ दिया और एक बेटी व एक बेटे को लेकर मुकेश कुमार उर्फ सोनू के साथ दनकौर कस्बे में रहने लगी. जबकि एक बेटी मृतक वीरपाल उर्फ पप्पन के साथ रहती थी. मृतक वीरपाल का एक मकान हरियाणा के बल्लभगढ़ में है. कुछ खेती की जमीन पप्पन के ससुराल यानी पत्नी नेहा के गांव में है. मृतक वीरपाल उर्फ पप्पन की कुछ जमीन यमुना अथॉरिटी ने अधिग्रहित की थी. जिसके मुआवजे की रकम और एक प्लाट वीरपाल उर्फ पप्पन को मिलने वाला था.