नई दिल्ली/गाजियाबाद:जनपद गाजियाबाद के जिलाधिकारी को सरकारी भूमि को हथियाने के संबंधित में एक शिकायत प्राप्त हुई थी. जिनमें दो पक्षों में जमीन के कब्जे को लेकर आपसी विवाद था. जिसको जिलाधिकारी ने गंभीरता से लेते हुए प्रकरण की जांच तत्कालीन उपजिलाधिकारी सदर प्रशांत तिवारी से कराई. प्रशांत तिवारी तत्कालीन उपजिलाधिकारी सदर का जनपद से स्थानांतरण होने के बावजूद जाते-जाते उन्होंने अपनी जांच रिपोर्ट जिलाधिकारी को सौंप दी है.
एफआईआर दर्ज कराए जाने के निर्देश
उप जिलाधिकारी प्रशांत तिवारी की सौंपी गई जांच रिपोर्ट में पाया गया है कि ग्राम अकबरपुर बहरामपुर के खसरा संख्या 206/5 रकबा 3.0730 हेक्टेयर (राजस्व अभिलेखों में चरागाह की भूमि दर्ज है) में कुल 239 व्यक्तियों के जरिए क्रय-विक्रय किया गया है. चारागाह भूमि को समय-समय पर विभिन्न लोगों ने फर्जी तरीके से विक्रय कर दिया. इस संबंध में उप जिलाधिकारी सदर के तहसीलदार सदर को भेजे गए अपने आदेश में यह कहा गया है कि बेशकीमती शासकीय भूमि के खरीद-फरोख्त के संबंध में अब तक जो क्रेता, विक्रेता, बैनामा लेखक, गवाहों तथा अन्य संलिप्त लिप्त व्यक्तियों के विरुद्ध एफआईआर दर्ज कराए जाने के निर्देश दिए हैं.
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