नई दिल्ली/फरीदाबाद: दिल्ली से सटे फरीदाबाद में इस कोरोना काल मे एक परिवार पर एक साथ दो-दो पहाड़ टूट पड़े. एक तो परिवार ने अपने एक सदस्य को खो दिया दूसरा उन्हें अंतिम संस्कार के लिए शव भी नहीं मिला. मामला बल्लभगढ़ की सुभाष कॉलोनी का है, जहां शुक्रवार देर शाम दो पक्षों हुए झगड़े में जमकर चाकू चले जिसमें एक पक्ष की तरफ से दो लोग घायल हो गए और एक व्यक्ति की मौत हो गई.
घटना के बाद मृतक के शव को पुलिस ने देर रात पोस्टमार्टम के लिए सिविल अस्पताल की मोर्चरी में रखवा दिया, लेकिन जब परिजन पोस्टमार्टम के लिए सिविल अस्पताल की मोर्चरी पर पहुंचे तो मोर्चरी से उन्हें शव गायब मिला. मोर्चरी में शव न मिलने के बाद परिजनों ने अस्पताल और पुलिस के खिलाफ जमकर नारेबाजी की और सूचना मिलने के बाद पुलिस के आला अधिकारी मौके पर पहुंचे और गुस्साई भीड़ को शांत करवाया.
ये है पूरा मामला
फरीदाबाद सिविल अस्पताल की मोर्चरी के बाहर हंगामा करने वाले लोगों का आरोप है कि देर रात झगड़े में उनके परिवार के एक सदस्य की चाकुओं से गोद कर निर्मम हत्या कर दी गई थी. जिसके शव को पोस्टमार्टम के लिए सिविल अस्पताल की मोर्चरी में रखवाया गया था और पुलिस ने सुबह पोस्टमार्टम कर उचित कार्रवाई करने का आश्वासन दिया ,था लेकिन सुबह जब वो पोस्टमार्टम की प्रक्रिया पूरी करने के लिए मोर्चरी पर पहुंचे तो उन्हें शव मोर्चरी में नहीं मिला.
शव न मिलने के बाद परिजनों ने इसकी सूचना अस्पताल के डॉक्टरों को दी जिसके बाद डॉक्टर मोर्चरी पर पहुंचे तो शव वहां से गायब था. अस्पताल की मोर्चरी से शव के गायब होने के बाद मौके पर खड़ी भीड़ के गुस्से से बचने के लिए अस्पताल के डॉक्टर भी मौके से गायब हो गए.