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PMC इन्वेस्टर का दर्द: 'हम रोज रात को मरते हैं और सुबह होता है हमारा पुनर्जन्म'

अपने बकाया पैसे की मांग को लेकर पीएमसी बैंक के इन्वेस्टरों ने बुधवार को पटेल चौक पर प्रदर्शन किया. साथ ही सरकार पर आरोप लगाया कि हमारे पैसों को वापस लाने के लिए कोई प्रयास नहीं कर रही.

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पीएमसी इन्वेस्टर का दर्द: 'हम रोज रात को मरते हैं और सुबह होता है हमारा पुनर्जन्म'

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Published : Sep 24, 2020, 8:06 AM IST

नई दिल्ली:पीएमसी बैंक को डूबे आज पूरे 1 साल हो गए. हजारों इन्वेस्टर के पैसे बैंक के साथ ही डूब गए हैं. अपने बकाया पैसे की मांग को लेकर पीएमसी बैंक के इन्वेस्टरों ने बुधवार को पटेल चौक पर प्रदर्शन किया. हाथों में तख्तियां लेकर प्रदर्शन कर रहे इन्वेस्टरों का कहना था कि सरकार हमारे पैसे को हमें वापस करें.

पीएमसी इन्वेस्टर्स ने किया प्रदर्शन
'रोज मरते हैं हम'
कभी पश्चिमी दिल्ली में 25 से ज्यादा मकानों के मालिक गुजराल आज सब्जी फल और किराने का सामान बेच रहे हैं. ईटीवी भारत से खास बातचीत के दौरान उन्होंने बताया कि पीएमसी बैंक में उनका 1 करोड़ 60 लाख रुपये जमा है और सब पैसे डूब गए. नौबत यहां तक आ गई है कि वह बिल्डर का काम छोड़ अब सड़क किनारे फल सब्जी और दूध बेच रहे हैं. उन्होंने बताया कि पैसों की चिंता के कारण हम रोज मर रहे हैं और अगले दिन सुबह पैसे मिलने की उम्मीद में हमारा पुनर्जन्म होता है.
'उधार मांग कर चल रहा काम'

गुजराल ने बताया कि आसपास के लोगों से उधार मांग कर उनका काम चल रहा है. अपने सभी संपत्ति बेचकर उन्होंने पीएमसी बैंक में इन्वेस्ट किया था, लेकिन बैंक ही डूब गई. ऐसी स्थिति में अब में किराए के मकान में रह रहा हूं. जिसका किराया देने के लिए भी मेरे पास पैसे नहीं है. प्रधानमंत्री के कहने पर हमने बैंक में पैसा इन्वेस्ट किया था क्योंकि प्रधानमंत्री खुद कह देते कि सभी बैंक सुरक्षित है और अब हमारे सभी पैसे डूब गए. 1 साल में हम मात्र 1 लाख रुपये निकाल सकते हैं. समझ नहीं आता कि ऐसी स्थिति में हम क्या करें.


'डिप्रेशन के हुए शिकार'

बातचीत के दौरान गुजराल ने बताया कि पैसों की चिंता के कारण वह डिप्रेशन का शिकार हो गए हैं. मेरी कई हार्ट सर्जरी हो चुकी है. रोज रात को नींद की गोलियां खाने के बाद ही नींद आती है. लेकिन सरकार हमारे पैसों को वापस लाने के लिए कोई प्रयास नहीं कर रही.

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