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नवंबर तक मोबाइल फोन एक्सपोर्ट ₹75,000 करोड़ रुपये के पार - मोबाइल फोन एक्सपोर्ट

लोकल मैन्युफैक्चरिंग ग्रोथ के आधार पर देश से मोबाइल फोन एक्सपोर्ट चालू वित्त वर्ष में अप्रैल से नवंबर तक 9 बिलियन डॉलर को पार कर गया है. पढ़ें पूरी खबर... ( local manufacturing growth, mobile phone exports in india)

mobile phone exports
नवंबर तक मोबाइल फोन एक्सपोर्ट ₹75,000 करोड़ रुपये के पार

By IANS

Published : Dec 31, 2023, 4:05 PM IST

नई दिल्ली :स्थानीय विनिर्माण वृद्धि के आधार पर देश से मोबाइल फोन निर्यात चालू वित्त वर्ष में अप्रैल से नवंबर तक 9 बिलियन डॉलर (75,000 करोड़ रुपये से अधिक) को पार कर गया है. यह जानकारी उद्योग की ओर से जारी आंकड़ों से सामने आई है. इंडिया सेल्युलर एंड इलेक्ट्रॉनिक्स एसोसिएशन (आईसीइर्ए) के अनुसार यह शानदार वृद्धि पिछले साल की समान अवधि के दौरान 6.2 बिलियन डॉलर (50,000 करोड़ रुपये से अधिक) की तुलना में है.

एप्पल के नेतृत्व में भारत चालू वित्त वर्ष में मोबाइल फोन निर्यात में 15 बिलियन डॉलर (1,24,000 करोड़ रुपये से अधिक) को पार करने के लिए तैयार है, जो पिछले वित्त वर्ष की तुलना में 35 प्रतिशत की वृद्धि दर्ज करेगा. मूल उपकरण निर्माताओं, मूल डिजाइन निर्माताओं और घटकों और भागों में काम करने वाली कंपनियों के भारी निवेश के कारण देश अब मोबाइल फोन के लिए दूसरा सबसे बड़ा विनिर्माण केंद्र है. संगठ ने कहा कि मोबाइल फोन निर्यात में जबरदस्त वृद्धि जारी है.

चालू वित्त वर्ष के अप्रैल-नवंबर के दौरान यह 75,000 करोड़ रुपये को पार कर गया. इलेक्ट्रॉनिक्स निर्यात भी 28 प्रतिशत बढ़कर 1,46,584 करोड़ रुपये हो गया. वित्त वर्ष 2022-23 के दौरान, 23.6 बिलियन डॉलर के इलेक्ट्रॉनिक्स निर्यात में से मोबाइल फोन की हिस्सेदारी 11.1 बिलियन डॉलर थी. जबकि, वित्त वर्ष 2023-24 में इलेक्ट्रॉनिक्स निर्यात के अनुमानित 26 बिलियन डॉलर में से मोबाइल फोन 15 बिलियन डॉलर तक पहुंचने की उम्मीद है.आईसीईए ने बताया कि इस साल, मोबाइल फोन निर्यात वित्त वर्ष 2023-24 में कुल इलेक्ट्रॉनिक्स निर्यात का लगभग 58 प्रतिशत होने का अनुमान है, जबकि पिछले वित्तीय वर्ष में यह लगभग 47 प्रतिशत था.

एप्‍पल का लक्ष्य भारत में प्रति वर्ष 50 मिलियन से अधिक आईफोन का निर्माण करना है, क्योंकि इसका लक्ष्य कुछ उत्पादन चीन से बाहर स्थानांतरित करना है। रिपोर्टों के अनुसार, तकनीकी दिग्गज का लक्ष्य अगले दो से तीन वर्षों के भीतर लक्ष्य हासिल करना है, इसके बाद अतिरिक्त दसियों लाख इकाइयों की योजना बनाई जाएगी. एप्पल से लेकर फॉक्सकॉन तक, कंपनियां आपूर्ति विविधीकरण हासिल करने और देश में विनिर्माण करके उत्पादन बढ़ाने के लिए घरेलू क्षमताओं का लाभ उठाने का लक्ष्य रख रही हैं.

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