हैदराबाद: हाल ही में केंद्रीय वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण ने एसयूवी पर लगने वाले सेस में बढ़ोत्तरी कर 22 प्रतिशत कर दिया है. लेकिन इसके साथ ही वित्त मंत्री ने एसयूवीज़ को परिभाषित भी किया है. इसके तहत 4 मीटर या उससे बड़ी, 1,500 सीसी या उससे अधिक के इंजन और 170 मिलीमीटर या उससे अधिक के ग्राउंड क्लीयरेंस के साथ आने वाली कार को एसयूवी सेगमेंट में रखा जाएगा.
तो अगर आप एक कॉम्पैक्ट या मिड-साइज एसयूवी लेना चाहते हैं, तो 50वीं वस्तु एवं सेवा कर (जीएसटी) परिषद द्वारा पेश किए गए नए नियम के तहत, आपको नई एसयूवी, एमयूवी और क्रॉसओवर सहित सभी प्रकार के युटिलिटी वाहनों पर 28 प्रतिशत जीएसटी के अतिरिक्त 22 प्रतिशत सेस भी चुकाना होगा. हालांकि, 170 मिमी से अधिक ग्राउंड क्लीयरेंस वाली सेडान को इस वर्गीकरण से बाहर रखा गया है और उन्हें एसयूवी नहीं माना जाएगा.
6-सीटर एमयूवी को भी किया गया था शामिल
इससे पहले, छह या अधिक लोगों के बैठने की व्यवस्था वाले एमयूवी ने उच्च उपकर वर्गीकरण को दरकिनार कर दिया था, जिसके परिणामस्वरूप अन्य मानदंडों को पूरा करने के बावजूद इन पर कम उपकर लगा था. लेकिन इस खामी को 48वीं वस्तु एवं सेवा कर (जीएसटी) परिषद में संबोधित किया गया था, जिसका उद्देश्य एसयूवी की परिभाषा को स्पष्ट करना था.