नई दिल्ली: विशाखापत्तनम में जानलेवा स्टिरीन गैस का रिसाव जिस एलजी पॉलिमर इंडिया के कारखाने से हुआ वह दक्षिण कोरिया की रसायन कंपनी एलजी केम की अनुषंगी कंपनी है. एलजी केम ने एक स्थानीय कंपनी का अधिग्रहण कर 1997 में भारत में इस क्षेत्र में कारोबार शुरू किया था। कंपनी के कारखाने से गैस रिसाव की घटना में नौ लोगों की मौत हो चुकी है तथा सैकड़ों लोग अस्पताल में भर्ती हैं.
कंपनी के इस वाइजैग संयंत्र में पॉलीस्टिरीन (पीएस) का विनिर्माण किया जाता है, जिसका खानपान सेवा उद्योग में काफी इस्तेमाल होता है. इस रसायन का इस्तेमाल प्लास्टिक के एकबारगी इस्तेमाल वाले ट्रे और कंटेनर, बर्तन, फोम्ड कप, प्लेट और कटोरे आदि बनाने में होता है. इन्हें एक बार इस्तेमाल करने के बाद फेंक दिया जाता है.
जानकार सूत्रों के अनुसार एलजी पॉलिमर इंडिया प्राइवेट लिमिटेड की विशाखापत्तनम फैक्ट्री को लॉकडाउन के बाद फिर से खोलने के लिये बृहस्पतिवार को तैयार किया जा रहा था, तभी यह दुर्घटना हुई. कंपनी के कर्मचारी परिचालन को फिर से शुरू करने की तैयारी कर रहे थे, तभी शुरुआती घंटों में गैस का रिसाव होने लगा.
कहा जा रहा है कि जब रिसाव हुआ तब भंडारण टेंक में 1,800 टन स्टिरीन गैस थी. ठहराव और तापमान में बदलाव के कारण, स्टिरीन का स्वत: पॉलीमराइजेशन हो सकता है, जिसके कारण वाष्पीकरण हो सकता है.