नई दिल्ली : प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने मंगलवार को ऊर्जा को लेकर अपनी सरकार का खाका साझा किया. इसके तहत उन्होंने ऊर्जा के उपभोग में स्वच्छ प्राकृतिक गैस की हिस्सेदारी दोगुनी से अधिक करने, ऊर्जा के स्रोतों को विविध बनाने, पूरे देश को एक गैस पाइपलाइन ग्रिड से जोड़ने और लोगों व उद्यमों को किफायती ईंधन मुहैया कराने का जिक्र किया.
प्रधानमंत्री ने 450 किलोमीटर लंबी कोच्चि-मंगलुरू प्राकृतिक गैस पाइपलाइन का उद्घाटन करते हुए कहा कि उनकी सरकार आर्थिक विकास को बढ़ावा देने के लिये राजमार्ग, रेलवे, मेट्रो, विमानन, जल, डिजिटल और गैस संपर्क पर अभूतपूर्व काम कर रही है.
उन्होंने कहा कि ऊर्जा को लेकर योजना पर सरकार एकीकृत रुख अपना रही है. ऊर्जा का हमारा एजेंडा सर्व-समावेशी है. इस पाइपलाइन को तीन हजार करोड़ रुपये की लागत से तैयार किया गया है.
मोदी ने कहा कि एक तरफ पांच-छह साल में प्राकृतिक गैस पाइपलाइन के नेटवर्क को दोगुना कर करीब 32 हजार किलोमीटर का बनाया जा रहा है, दूसरी ओर गुजरात में सौर व पवन ऊर्जा को मिलाकर दुनिया के सबसे बड़े हाइब्रिड अक्षय ऊर्जा संयंत्र पर काम चल रहा है.
इनके अलावा आवागमन के इलेक्ट्रिक साधनों के साथ ही जैव ईंधन के विनिर्माण पर जोर दिया जा रहा है. प्रधानमंत्री ने कहा कि 10 साल की अवधि में गन्ना व अन्य कृषि उत्पादों से तैयार इथेनॉल करीब 20 प्रतिशत पेट्रोल का स्थानापन्न कर देगा.