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न्यूनतम आय गारंटी योजना पर आमने-सामने जेटली और चिदंबरम

न्यूनतम आय गारंटी योजना के घोषणा किए जाने के बाद वित्त मंत्री अरुण जेटली और कांग्रेस के वरिष्ठ नेता पी चिदंबरम के बीच ट्वीटर वार देखने को मिला.

न्यूतम आय गारंटी योजना पर आमने-सामने जेटली और चिदंबरम

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Published : Mar 25, 2019, 11:57 PM IST

Updated : Mar 26, 2019, 7:46 AM IST

नई दिल्ली: कांग्रेस अध्यक्ष राहुल गांधी की ओर से गरीब परिवारों के लिए सालाना 72 हजार रुपये देने के चुनावी वादे की घोषणा किए जाने के बाद वित्त मंत्री अरुण जेटली और कांग्रेस के वरिष्ठ नेता पी चिदंबरम के बीच ट्वीटर वार देखने को मिला.

वित्त मंत्री अरुण जेटली ने सोमवार को कांग्रेस अध्यक्ष राहुल गांधी के सत्ता में आने पर पांच करोड़ गरीब परिवारों को हर साल 72,000 रुपये देने के वादे को लोगों को झांसा देने वाली घोषणा बताया. उन्होंने कहा कि कांग्रेस पार्टी जो वादा कर रही है, प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी पहले से उससे ज्यादा गरीबों को दे रहे हैं.

वित्त मंत्री अरुण जेटली का ट्वीट

ये भी पढ़ें-राहुल गांधी ने किया देश से बड़ा वादा, हर गरीब परिवार को मिलेगा 72 हजार प्रतिवर्ष

गांधी ने संवाददाता सम्मेलन में कहा कि उनकी पार्टी सत्ता में आने के बाद देश के सबसे अधिक गरीब 5 करोड़ गरीब परिवार को न्यूनतम आय गारंटी के तहत सालाना 72,000 रुपये देगी. जेटली ने ट्विटर पर लिखा है, "सामान्य गणित पर कांग्रेस पार्टी की घोषणा को आंका जाए तो 72,000 रुपये मोदी सरकार में प्रत्यक्ष लाभ अंतरण (डीबीटी) के जरिये गरीबों को विभिन्न सब्सिडी मद में दिए जा रहे औसतन सालान 1.068 लाख रुपये से कहीं कम है. अत: कांग्रेस पार्टी जो भी वादा कर रही है, वह सिर्फ झांसा देने वाली घोषणा है."

उन्होंने कहा कि पिछले पांच साल में प्रधानमंत्री ने बैंकों के जरिये सीधे गरीब परिवारों के खातों में सब्सिडी की राशि डालने के लिये प्रत्यक्ष लाभ अंतरण योजना शुरू की. खाद्य, उर्वरक, केरोसिन के अलावा 55 मंत्रालय डीबीटी के जरिये गरीबों को सब्सिडी दे रहे हैं. वित्त मंत्री ने एक अन्य ट्वीट में कहा, "आज ज्यादातर औद्योगिक कर्मचारियों को 12,000 रुपये मासिक से अधिक मिल रहा है. सातवें वेतन आयोग के बाद सरकारी नौकरी में शुरुआती वेतन 18,000 रुपये मासिक है. भूमिहीन किसानों को मनरेगा के तहत भुगतान किया जा रहा है. श्रमिकों का न्यूनतम वेतन करीब 42 प्रतिशत बढ़ाया गया है."

जेटली ने ट्विटर पर लिखा कि नेहरू मॉडल से आर्थिक वृद्धि धीमी हुई. इंदिरा गांधी ने 1971 में गरीबी हटाओ का नारा दिया. इससे गरीबी घटने के बजाय बढ़ी. उन्होंने लिखा, "देश में विरासत में मिली गरीबी कांग्रेस पार्टी के अक्षम शासन को प्रतिबिंबित करती है."

इसके बाद कांग्रेस के वरिष्ठ नेता पी चिदंबरम ने जेटली को जबाव देते हुए कहा कि इसे लागू करने के साथ ही राजकोषीय अनुशासन को भी बनाए रखा जाएगा. पूर्व वित्त मंत्री ने यह भी कहा कि न्यूनतम आय गारंटी की इस योजना के बारे में कई प्रमुख अर्थशास्त्रियों से विचार-विमर्श किया गया है.

वरिष्ठ नेता पी चिदंबरम का ट्वीट

चिदंबरम ने ट्वीट कर कहा, "खुश हूं कि कांग्रेस अध्यक्ष ने 'न्याय' (न्यूनतम आय गारंटी) की घोषणा की है. इसके तहत 20 फीसदी सबसे गरीब परिवारों को सालाना 72 हजार रुपये दिए जाएंगे." उन्होंने कहा, "हमने अर्थशास्त्रियों से विचार-विमर्श किया है. यह क्रियान्वयन करने योग्य है और हम राजकोषीय अनुशासन को बनाए रखेंगे."

वरिष्ठ नेता पी चिदंबरम का ट्वीट

चिदंबरम ने ट्वीट कर वित्तमंत्री अरुण जेटली से पूछा, "प्रिय वित्त मंत्री जी, हमने देश के 5 करोड़ सबसे गरीब परिवारों के लिए "न्याय" की घोषणा की है. आप इसका समर्थन करते हैं या विरोध?"
बता दें कि कांग्रेस अध्यक्ष राहुल गांधी की ओर से गरीब परिवारों के लिए सालाना 72 हजार रुपये देने के चुनावी वादे की घोषणा की है. जिसके बाद से इसके विरोध और समर्थन में कई बयान सामने आए हैं.

Last Updated : Mar 26, 2019, 7:46 AM IST

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