हैदराबाद : वैश्विक महामारी के दौर में भी भारत अरबपतियों के मामलें में दुनिया में तीसरी सबसे बड़ी शक्ति बन कर उभरा. हुरुन ग्लोबल रिच लिस्ट 2020 की रिपोर्ट के अनुसार भारत अरबपतियों की संख्या के मामले में भारत वैश्विक स्तर पर तीसरे नंबर पर है.
आईआईएफएल वेल्थ हुरुन इंडिया रिच लिस्ट के अनुसार 2013 से लेकर अब तक देश में अरबपतियों की संख्या दुगुनी हो गई है. वहीं 1,000 करोड़ से अधिक व्यक्तिगत संपत्ति वाले लोगों की संख्या 2013 में 100 के मुकाबले अब बढ़कर 827 हो गई है.
रिपोर्ट यह भी बताती है कि स्वनिर्मित अरबरति महिला उद्योगपतियों की संख्या उक्त अवधि में 1 से बढ़कर 25 हो गई है.
मध्यम वर्ग की नई परिभाषा
हुरुन इंडिया वेल्थ रिपोर्ट 2020 ने भारत में एक नए मध्यम वर्ग की पहचान की है - जिसकी औसत कमाई 50 लाख रुपये प्रति वर्ष और 7 करोड़ से कम संपत्ति है.
रिपोर्ट में कहा गया है कि इन घरों में प्राथमिक आवासीय संपत्ति और ऑटोमोबाइल जैसी भौतिक परिसंपत्तियों के लिए एक बड़ा आवंटन है. हुरुन इंडिया के अनुसार भारत में ऐसे कुल संचयी घरों की संख्या 6.33 लाख है.
हुरुन के अनुसार, भारत में कम से कम 7 करोड़ रुपये की संपत्ति वाले 4.12 लाख करोड़पति घर हैं.
हुरुन रिच लिस्टर्स के अनुसार 2.5 लाख रुपये प्रति वर्ष की कमाई और 7 करोड़ से कम संपत्ति वाले मध्यम वर्ग के तहत आते हैं. ऐसे परिवार की संख्या रिपोर्ट के अनुसार 5.64 लाख है.
देश में मध्यवर्गीय खंड का उच्चतम अनुपात दिल्ली में पाया जाता है. इसके बाद पंजाब, गुजरात और महाराष्ट्र का स्थान आता है.